मुंबई: महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (MNS) यानी राज ठाकरे की पार्टी एक मोर्चा निकालने जा रही है जिसमें वो बांग्लादेशी और पाकिस्तानी घुसपैठियों भारत से बाहर निकालने के लिये हुंकार भरेगी. राज ठाकरे ने कुछ दिन पहले उद्धव ठाकरे को इस मुद्दे पर अपना स्टैंड स्पष्ट करने की चुनौती दी थी. 


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हिंदुत्व की राह पर राज ठाकरे


हिंदुत्व की राजनीति हथियाने की यह जंग 23 जनवरी को शुरू हुई थी जब एमएनएस ने नए झंडे, चिन्ह और नई विचारधारा के साथ नई शुरुआत की. मनसे अध्यक्ष राज ठाकरे ने पार्टी के नए झंडे का अनावरण किया, जो गहरे भगवा रंग का है. इसके साथ छत्रपति शिवाजी महाराज के शासन की मुद्रा (रॉयल सील) को चिन्ह के तौर पर जारी किया गया. पार्टी का भव्य सम्मेलन गोरेगांव में एनएसई ग्राउंड में अयोजित किया गया था.



बाल ठाकरे की विरासत पर जंग


राज ठाकरे में लोग बाल ठाकरे जैसा आक्रामक तेवर देखते हैं. जब से शिवसेना कांग्रेस के साथ गयी है तब से राज की कोशिश है कि हिंदुत्व की बाल ठाकरे की विरासत पर अपना कब्जा किया जाए.  मनसे के ठाणे अध्यक्ष अविनाश जाधव ने बालासाहेब के भतीजे राज को नया 'हिंदू हृदयसम्राट' बताया था और पार्टी का नया कलेवर बाल ठाकरे की जयंती के दिन लॉन्च किया गया था. पार्टी ने राज ठाकरे के चाचा और शिवसेना के संस्थापक दिवंगत बालासाहेब ठाकरे की 94वीं जयंती भी धूमधाम से मनाई थी.


निशाने पर उद्धव ठाकरे


आपको बता दें कि पिछली रात को महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना विद्यार्थी परिषद के उपाध्यक्ष अखिल अनिल चित्रे के द्वारा मुंबई के बांद्रा में स्थित उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) के निवास स्थान मातोश्री के बाहर एक बैनर लगाया गया है. जिसके माध्यम से महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से निवेदन किया गया है कि अगर आप हिंदुस्तान से अवैध घुसपैठियों को भगाना चाहते हैं तो उसकी शुरुआत अपने इलाके यानी बांद्रा से कीजिए.


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