तेलंगाना की राजनीतिक लड़ाई, कांग्रेस ज्वाइन करने वाले 10 विधायकों को अयोग्य करार देने के लिए BRS ने उठाया ये कदम
BRS ने कहा- विधानसभा अध्यक्ष ने भरोसा दिया कि वह याचिका पर गौर करेंगे और कानून एवं संविधान के सुसंगत प्रावधानों के तहत फैसला करेंगे.
हैदराबाद. कांग्रेस ज्वाइन करने वाले 10 BRS विधायकों को लेकर राजनीतिक लड़ाई तेज हो गई है. BRS ने मंगलवार को तेलंगाना विधानसभा के स्पीकर जी. प्रसाद कुमार को अर्जी देकर इन 10 विधायकों की सदस्यता समाप्त करने की अपील की है. BRS के कार्यकारी अध्यक्ष के.टी. रामाराव और अन्य विधायकों ने विधानसभा में अध्यक्ष को अर्जी दी.
क्या बोले रामाराव
रामाराव ने कहा- हमें अब भी विधानसभा अध्यक्ष पर भरोसा है. हमें उम्मीद है कि वह फैसला करेंगे. अगर वह ऐसा नहीं करते हैं तो हम सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे. के. चंद्रशेखर राव के बेटे रामाराव ने कहा कि टॉप कोर्ट ने अपने फैसले में व्यवस्था दी थी कि विधानसभा अध्यक्ष को अयोग्यता की अर्जी पर तीन महीने के भीतर फैसला लेना चाहिए और इससे प्रसाद कुमार को अवगत कराया गया.
बीआरएस ने लगाया आरोप
इस मामले में बीआरस की तरफ से आरोप लगाया है कि लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी संविधान की रक्षा को लेकर बड़े-बड़े दावे करते हैं लेकिन वह पाला बदलने वाले विधायकों की पीठ थपथपा रहे हैं. कांग्रेस के पिछले साल दिसंबर में सत्ता में आने के बाद से बीआरएस के 10 विधायकों ने पाला बदला है जिससे विपक्षी पार्टी को अयोग्यता याचिका दाखिल करनी पड़ी है.
6 विधान पार्षद भी कांग्रेस में शामिल
बता दें कि दस विधायकों के अलावा 6 दूसरे विधान पार्षद भी कांग्रेस का हिस्सा बन गए हैं. कांग्रेस ने भी BRS की आलोचनाओं का जवाब दिया है. कांग्रेस के नेताओं ने कहा था कि के. चंद्रशेखर राव नीत पार्टी को दलबदल पर बात करने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है क्योंकि बीआरएस ने भी सत्ता में रहने के दौरान दूसरे दलों के विधायकों को अपनी पार्टी में शामिल किया था.
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