भोजन में मिले चीनी-नमक में मौजूद है माइक्रोप्लास्टिक, स्टडी में हुआ डरावना खुलासा

माइक्रोप्लास्टिक पर्यावरण और स्वास्थय के लिए काफी हानिकारक है. इन संभावित नुकसान के कारण यह दुनियाभर में चिंता का विषय बन गया है. प्लास्टिक के ये छोटे पार्टिकल भोजन, पानी और हवा के जरिए इंसानों के शरीर में प्रवेश कर सकते हैं.

श्रुति कौल Wed, 14 Aug 2024-5:57 pm,
1/6

salt

पर्यावरण अनुसंधान संगठन 'टॉक्सिस लिंक' की ओर से पब्लिश एक स्टडी में पाया गया कि लगभग सभी भारतीय नमक और चीनी के ब्रांड्स चाहे अपनपैक्ड हो यहा पैक्ड इनमें माइक्रोप्लास्टिक्स होते हैं. 'माइक्रोप्लास्टिक्स इन सॉल्ट एंड शुगर' नाम की इस स्टडी में 5 तरह की चीनी और 10 तरह के नमक की जांच की गई. 

 

2/6

salt

स्टडी में सभी चीनी और नमक के सैंपल में पैलेट्स, फाइबर और फ्रेगमेंट्स समेत कई तरह के माइक्रोप्लास्टिक्स की पहचान की गई. इनका आकार 0.1mm से 5mm तक था. वहीं आयोडीन युक्त नमक में माइक्रोप्लास्टिक का कंसंट्रेशन सबसे ज्यादा पाया गया. 

3/6

salt

इस स्टडी में नमक के सैंपल में माइक्रोप्लास्टिक का कंसंट्रेशन 6.71-89.15 टुकड़े प्रति किलोग्राम तक था. सबसे ज्यादा आयोडीन वाले नमक का कंसंट्रेशन 89.15 टुकड़े प्रति किलोग्राम था. वहीं ऑर्गेनिक सेंधा नमक का कंसेट्रेशन सबसे कम यानी 6.70 टुकड़े प्रति किलोग्राम था. 

4/6

sugar

स्टडी में 5 तरह की चीनी की जांच की गई. इसके नमूनों में कंसंट्रेशन 11.85-68.25 टुकड़े प्रति किलोग्राम तक था. इसमें नॉन-ऑर्गेनिक चीनी में माइक्रोप्लास्टिक का स्तर सबसे ज्यादा था. चीनी का ज्यादा सेवन वैसे भी सेहत को ज्यादा नुकसान पहुंचाती है. 

5/6

microplastic

माइक्रोप्लास्टिक पर्यावरण और स्वास्थय के लिए काफी हानिकारक है. इन संभावित नुकसान के कारण यह दुनियाभर में चिंता का विषय बन गया है. प्लास्टिक के ये छोटे पार्टिकल भोजन, पानी और हवा के जरिए इंसानों के शरीर में प्रवेश कर सकते हैं. इससे एलर्जी, कैंसर और थायराइड का खतरा रहता है.  

 

6/6

zee bharat

Disclaimer: यहां दी गई जानकारी रिसर्च  पर आधारित है, लेकिन Zee Bharat इसकी पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें. 

 

ZEENEWS TRENDING STORIES

By continuing to use the site, you agree to the use of cookies. You can find out more by Tapping this link