IND vs ENG: टीम इंडिया को भारी न पड़ जाए ये 3 कमियां, तीसरे मैच में होगा असली `टेस्ट`
पिछले लगभग एक साल से रोहित ने बल्ले से आक्रामक रुख अपनाया है लेकिन बड़ी पारियां खेलने में नाकाम रहे हैं. मौजूदा स्थिति को देखते हुए टीम को अपने कप्तान से बड़ी पारी की उम्मीद होगी.
नई दिल्लीः भारतीय टीम गुरुवार से जब इंग्लैंड के खिलाफ तीसरे टेस्ट के लिए उतरेगी तो उसे निडर और चतुराई भरा क्रिकेट खेलने के अलावा मध्यक्रम की कमजोरियों का भी समाधान ढूंढना होगा. इंग्लैंड ने हैदराबाद में श्रृंखला के पहले मैच में भारत को हराया लेकिन मेजबान टीम ने विशाखापत्तनम में दूसरे टेस्ट में वापसी करते हुए पांच मैच की श्रृंखला 1-1 से बराबर कर दी.
जायसवाल और बुमराह पर रहेगी नजर
यशस्वी जायसवाल (321 रन) और जसप्रीत बुमराह (15 विकेट) ने शानदार प्रदर्शन करते हुए भारत की जीत सुनिश्चित की लेकिन मध्यक्रम टीम की चिंता का सबब बना हुआ है जहां योगदान देने की जिम्मेदारी अब युवा प्रतिभाओं पर है. आठ दिन के ब्रेक से पहले कप्तान रोहित शर्मा की बल्ले से खराब फॉर्म ने भारतीय बल्लेबाजी क्रम की चिंता बढ़ाई ही है. भारतीय टीम इस मैच में लोकेश राहुल के बिना उतरेगी जबकि विराट कोहली पूरी श्रृंखला से बाहर हो गए हैं.
रोहित को खेलनी होगी बड़ी पारी
पिछले लगभग एक साल से रोहित ने बल्ले से आक्रामक रुख अपनाया है लेकिन बड़ी पारियां खेलने में नाकाम रहे हैं. मौजूदा स्थिति को देखते हुए टीम को अपने कप्तान से बड़ी पारी की उम्मीद होगी. राहुल के अनुपलब्ध होने से मुंबई के बल्लेबाज सरफराज खान को टेस्ट क्रिकेट में पदार्पण का मौका मिल सकता है. अगर ऐसा होता है तो घरेलू क्रिकेट में ढेरों रन बनाने वाले सरफराज एक टेस्ट खेल चुके रजत पाटीदार के साथ मध्यक्रम की जिम्मेदारी संभालेंगे. इंग्लैंड की टीम भारतीय मध्यक्रम की अनुभवहीनता से अच्छी तरह वाकिफ है.
जुरेल को मिलेगा मौका
विरोधी टीम के मजबूत अध्ययन और आक्रामक खेल से इंग्लैंड की टीम वांछित नतीजे हासिल करने में सफल रही है. विकेटकीपर केएस भरत की बल्ले से लगातार नाकामी को देखते हुए भारत के उत्तर प्रदेश के 23 साल के ध्रुव जुरेल को मौका देने की संभावना बढ़ गई है. जुरेल आक्रामक बल्लेबाजी के लिए भी पहचाने जाते हैं. जुरेल ने 15 प्रथम श्रेणी मैच में 46.47 की औसत से रन बनाए हैं और राजकोट की पिच के पूरी तरह से स्पिन के अनुकूल होने की संभावना नहीं है और ऐसे में उन्हें अगर पदार्पण का मौका मिलता है तो उनके लिए आसानी होगी.
पहले दो टेस्ट में बुमराह ने शानदार गेंदबाजी की और टीम के प्रतिष्ठित स्पिनरों को कुछ हद तक बचा लिया जो स्पिन की पूरी तरह से अनुकूल पिच की गैरमौजूदगी में काफी प्रभावी नजर नहीं आए हैं. राजकोट की पिच पारंपरिक रूप से बल्लेबाजी के अनुकूल होती है और भारत को बाएं हाथ के स्पिनरों कुलदीप यादव और अक्षर पटेल में से किसी एक को चुनना होगा.
भारत: रोहित शर्मा (कप्तान), जसप्रीत बुमराह, यशस्वी जायसवाल, शुभमन गिल, रजत पाटीदार, सरफराज खान, ध्रुव जुरेल, केएस भरत, आर अश्विन, रविंद्र जडेजा, अक्षर पटेल, वाशिंगटन सुंदर, कुलदीप यादव, मोहम्मद सिराज, मुकेश कुमार, आकाश दीप और देवदत्त पडिक्कल.
इंग्लैंड: बेन स्टोक्स (कप्तान), रेहान अहमद, जेम्स एंडरसन, गस एटकिंसन, जॉनी बेयरस्टो, शोएब बशीर, डैन लॉरेंस, जैक क्राउली, बेन डकेट, बेन फोक्स, टॉम हार्टले, ओली पोप, ओली रॉबिन्सन, जो रूट और मार्क वुड.
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