नई दिल्लीः EPFO ने अपने KYC Update करने के नियमों को बदल दिया है. अब PF खाताधारकों की KYC में और कड़ाई की जाएगी. दरअसल EPFO को लगातार PF खातों की सुरक्षा में सेंध लगने और धोखाधड़ी की खबर मिल रही थी. ऐसे में मूल दस्तावेजों के बिना PF अंशधारकों का विवरण नहीं बदला जाएगा. 


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जारी की गई है एडवाइजरी
जानकारी के मुताबिक, किसी को अगर EPFO खातों में KYC के तहत कोई बदलाव करना है तो EPFO से मूल दस्तावेज का सत्यापन कराना होगा. इसके लिए नियोक्ता को भी एडवाइजरी जारी कर निर्देश दिया गया है. कहा गया है कि PF अंशधारकों की KYC में मूल पत्रावली पर ही बदलाव किए जाएं.



इस एडवाइजरी में KYC में बदलाव के मामले पर गंभीरता दिखाने के लिए कहा गया है. एडवाइजरी में साफ निर्देश है कि नियोक्ता भी नाम, पता, जन्मतिथि आश्रित और पिता या पति के नाम में बदलाव पत्रावलियां देखने के बाद ही करेंगे, या फिर छोड़ देंगे. दस्तावेज में बदलाव को तभी सही माना जाएगा जब अंशधारक के दस्तावेज अपलोड होंगे. यह शर्त केवाईसी में Online और offline दोनों ही प्रक्रिया पर लागू होगी. 


इतने बदलाव की मिली है छूट
पहले नाम को फुल फार्म के तौर पर बदला जा सकता है, लेकिन नाम का शब्द बदलने की अनुमति नहीं होगी. यानी अगर आपने नाम लिखा VK Sharma तो यह कागज आदि देखकर Vikas Kumar Sharma तो बदला जा सकता है (यानी सत्यापित कागज पर दर्ज पूरा नाम) लेकिन VK Sharma को Bhagwan Kumar Sharma नहीं कर सकते हैं.



पहले EPFO मूल डॉक्यूमेंट के साथ उनका सत्यापन करेगा तभी उसमें बदलाव किया जाएगा. EPFO ने KYC में बदलाव के साथ ही PF खाते से भुगतान पर रोक लगा दी है.


EPFO बोर्ड सदस्य सुखदेव प्रसाद मिश्र के मुताबिक केवाईसी की आड़ में कुछ खातों से धननिकासी गलत तरीके से किए जाने की शिकायतें मिलीं. इसलिए नियम सख्त किए गए. अब हर हिस्से पर दो से तीन बार चेकिंग होगी तभी KYC में बदलाव को मंजूर किया जाएगा. 


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