Kiren Rijiju News: काफी समय से मोदी मंत्रिमंडल में फेरबदल की अटकलें लग रही थीं, लेकिन ये सिर्फ अटकलें ही रहीं. आज अचानक मंत्रिमंडल के विभाग में फेरबदल कर दिया गया. हाई प्रोफाइल किरेन रिजिजू से उनका विभाग छीन लिया गया और उन्हें पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय (Earth and science) की जिम्मेदारी सौंप दी गई.


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क्यों किया गया बदलाव? 
माना जा रहा है कि किरेन रिजिजू के हाल के बयानों को लेकर उन पर गाज गिरी है. उनके बयानों से ऐसा संदेश गया कि लोकतंत्र के सभी अंगों में तनाव चल रहा है. रिजिजू बयानों को लेकर कई बार असहज स्थिति भी आई. बता दें, किरेन रिजिजू कानून मंत्री का जिम्मा संभालने के बाद  न्यायपालिका की आलोचना भी कर चुके हैं.


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किरेन रिजिजू की टिप्पणियों पर जताई गई थी नाराजगी 
इतना ही नहीं, वह जजों की नियुक्ति का कॉलोजियम सिस्टम, पूर्व जजों की ऐक्टिविस्ट के साथ साठगांठ जैसे मुद्दों पर टिपण्णी कर चुके हैं, जिस पर विवाद भी हो चुका है. पिछले साल नवंबर में सुप्रीम कोर्ट की दो जजों की पीठ ने रिजिजू की टिप्पणियों पर नाराजगी भी जताई थी. दो जजों की पीठ ने कहा था कि शायद सरकार जजों की नियुक्ति को इसलिए मंजूरी नहीं दे रही है, क्योंकि एनजेएसी कानून को मंजूरी नहीं दी गई है. 


पीआईएल भी हुई थी दायर 
रिजिजू ने नंवबर 2022 में कहा था कि जजों की नियुक्ति का कॉलेजियम सिस्टम संविधान के लिए एलियन है. उन्होंने कहा था कि कॉलेजियम सिस्टम में कई खामियां हैं. लोग भी इसके खिलाफ आवाज उठा रहे हैं. इसके बाद उन्होंने कहा था कि रिटायर्ड जज और ऐक्टिविस्ट भारत विरोधी गिरोह का हिस्सा हैं. इस सब के बाद किरेन रिजिजू और उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ की टिप्पणियों के विरुद्ध एक पीआईएल भी दायर की गई थी.


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केंद्र सरकार को सुप्रीम कोर्ट से लगा था झटका 
हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने दो दिन पहले इस पीआईएल को खारिज कर दिया था. हाल ही में केंद्र सरकार को सुप्रीम कोर्ट से झटका भी मिला है. एलजी बनाम दिल्ली सरकार मामले में सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार के पक्ष में फैसला दिया. चुनावी साल में सरकार और न्यायपालिका के बीच सद्भाव रहे शायद इसीलिए रिजूजू को हटाकर अर्जुन राम मेघवाल को स्वतंत्र प्रभार दिया गया है और उन्हें कानून मंत्रालय की जिम्मेदारी सौंपी गई है.  


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