Moradabad News: उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद जिले से एक चौंकाने वाली खबर आई है. यहां एक मय्यत के जनाजे की नमाज को इसलिए पढ़ाने की इजाजत नहीं मिली कि वह आदमी बीजेपी समर्थक था. यह मामला कुन्दरकी नगर के मोहल्ला कायस्थान का है.


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दरअसल, एक शख्स ने मस्जिद के इमाम और गांव की कमेटी के लोगों पर इलज़ाम लगाया है कि उसके पिता की मौत के बाद जनाजे की नमाज पढ़ाने से मना कर दिया गया. अलीदाद खान नाम के शख्स का कुछ दिन पहले बीमारी की वजह इंतकाल हो गया था, जो बीजेपी का समर्थक था. उनके बेटे ने अपने पिता के जनाजे को मस्जिद में लाया ताकि वहां उनकी नमाज-ए-जनाजा पढ़ाई जा सके. लेकिन अलीदाद के बेटे दिलनवाज का इलज़ाम है कि पिता के भाजपा समर्थक होने की वजह से मस्जिद के इमाम ने जनाजे की नमाज पढ़ाने से मना कर दिया. 


"यह तो हिंदू है इनकी नमाज कैसे होगी?"
दिलनवाज ने बताया कि 23 जुलाई को दिल का दौरा पड़ने से उनके पिता का इंतकाल हो गया था. जनाजे की नमाज के लिए वह मस्जिद गया तो इमाम और कमेटी के 4 लोगों ने मना कर दिया. उन्होंने कहा कि उसके पिता "BJP से जुड़े रहे हैं और हमेशा उन्हें ही वोट दिया है. यह तो हिंदू है इनकी नमाज कैसे होगी?"


दिलनवाज ने कार्रवाई की मांग
दिलनवाज ने कहा, "वे बदमाश किस्म के लोग हैं. मुझे और मेरे परिवार को उनसे जान का खतरा है. मैं उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई चाहता हूं."


मस्जिद के इमाम ने क्या कहा?
वहीं, मस्जिद के इमाम मौलाना राशिद ने इस इलज़ाम को खारिज करते हुए कहा कि उन्होंने बेवजह मुद्दा बनाया है. इमाम ने कहा, "मेरी जानकारी में ऐसी कोई बात नहीं थी. उन्होंने इसे बेवजह मुद्दा बनाया है. जनाजे की नमाज उसी मस्जिद में हुई है, जहा मैं नमाज पढ़ाता हूं. कैमरे में सब कुछ रिकॉर्ड है. करीब के कब्रिस्तान में अलीदाद खान को दफन किया गया. उनके रिश्तेदारों ने नमाज भी पढ़वाई है. नीचा दिखाने और बदनाम करने के लिए गलत आरोप लगाया जा रहा है."


डीएम ने उचित कार्रवाई का दिया आश्वासन
इस पूरे मामले पर मुरादाबाद के डीएम अनुज कुमार सिंह ने कहा, "इस संबंध में शिकायत दर्ज कराई गई है. मामले की जांच की जा रही है. SDM, एडिशनल एसपी और एसपी सत्यता की जांच करा रहे हैं. मामला सही होने पर उचित कार्रवाई की जाएगी."