Himachal Poltics: हिमाचल प्रदेश के कांग्रेस के 6 बागी विधायकों पर गाज गिरी है. विधानसभा स्पीकर ने सभी विधायकों को अयोग्य करार देते हुए सदस्यता रद्द कर दी है. विधानसभा स्पीकर ने कहा, "दल-बदल कानून के तहत 6 विधायकों के खिलाफ शिकायत विधायक और मंत्री हर्ष वर्धन जी के माध्यम से हमारे सचिवालय को मिली. जिसके बाद उन्होंने दोनों पक्षों को सुना और अपना फैसला सुनाया."


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

विधायकों पर है ये इल्जाम
स्पीकर कुलदी सिंहप पठानिया ने कहा, "इन विधानसभा इलेक्शन तो कांग्रेस पार्टी से लड़ा, लेकिन पार्टी का व्हिप उल्लंघन किया और पार्टी के कैंडिडेट को वोट नहीं दिया. इसके बाद मैंने सभी पक्षों को सुना. मेरे ऑर्डर के तीस पेज है. माननीय इस मामले पर पूरी सुनवाई की. मैंने दोनों पक्षों को पूरी तरह सुना. जिन विधायकों को अयोग्य घोषित किया गया है उनके नाम चैतन्य शर्मा, देवेंदर भुट्टो, सुधीर शर्मा, रवि ठाकुर,राजेंद्र सिंह राणा, इंदर दत्त लखनपाल हैं. इन सभी विधायकों ने पार्टी व्हिप का उल्लंघन किया था.



राज्यसभा इलेक्शन में बागी हुए थे विधायक
देश भर में 52 राज्यसभा सदस्यों के लिए इलेक्शन होना था, जिसमें हिमाचल प्रदेश में भी राज्यसभा की एक सीट पर इलेक्शन हुआ था, इस चुनाव को जीतने के लिए 35 विधायकों की वोट की जरूरत थी. वैसे भी कांग्रेस पार्टी के पास 40 विधायक थे. इस लिहाज से कांग्रेस ने अपना राज्यसभा कैंडिडेट अभिषेक मनु सिंघवी को बनाया था. माना जा रहा था कि उनकी जीत पक्की है. 


बीजेपी कैंडिडेट को किया था वोट
वहीं, बीजेपी के पास 25 विधायक थे, फिर भी भाजपा ने अपना कैंडिडेट हर्ष महाजन को चुनावी मैदान में उतारा था. इसी इलेक्शन में कांग्रेस के 6 विधायकों ने क्रॉस वोटिंग की थी. कांग्रेस और बीजेपी के 34-34 वोट मिले, जिसके बाद लॉटरी के जरिए इलेक्शन हुए, जिसमें बीजपी कैंडिडेट हर्ष महाजन जीत गए. इस इलेक्शन में कांग्रेस के 6 विधायकों समेत 3 निर्दलीय विधायकों ने भी बीजेपी कैंडिडेट को वोट किया था.