मुज़फ्फरपुर: डिजिटल जमाने में जहां पिज्ज़ा और बर्गर को नौजवान नस्ल पसंद कर रहे हैं. वहीं बिहार के मुज़फ्फरपुर खादी ग्रामोद्योग ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मुहिम 'लोकल फॉर वोकल' के तहत अनोखी पहल का अगाज़ किया है. दरअसल अब मक्के के रोटी के साथ साग और चटनी भी ऑनलाइन परोसी जा रही है. 


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मुजफ्फरपुर खादी ग्रामोद्योग की इस से डिजिटल के जमाने में पुराने जमाने का खाना मक्के की रोटी और साग को लोग खूब पसंद कर रहे हैं. इससे ने सिर्फ लोगों को रोज़गार मिल रहा है बल्कि खत्म होते जा रहे ऐसे लज़ीज़ खाने के लिए लोगों के दिल में फिर से जगह बन रही है. 


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एक फोन कॉल से ऑनलाइन ऑर्डर कर 100 रुपये में साग, 2 मक्के की रोटी, देशी धनिया मिर्च और आंवले की चटनी  लोगों को परोसी जा रही है. ये खाना मिट्टी के चूल्हे और लकड़ी के बर्तन में तैयार किया जाता है. इसके अलावा बैठ कर खाने के लिए चटाई और चारपाई का भी इंतेज़ाम किया गया है. 


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इस मामले में मुज़फ्फरपुर खादी ग्रामोद्योग के अध्यक्ष वीरेंद्र कुमार ने बताया कि मोबाइल से ऑनलाइल आर्डर मिल रहे हैं और लोगों को होम डिलीवरी भी की जा रही है. उन्होंने यह भी बताया कि लोग यहां परिवार के साथ भी खाना खाने आ रहे हैं. उन्होंने बताया कि मक्के की रोटी और साग तैयार करने में गांव की महिलाओं को लगाया गया है. इस काम में सफाई का पूरा ख्याल रखा जाता है.


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इसके अलावा उन्होंने यह भी बताया कि मक्के के बाद मड़ुआ, बाजरा, जौ, चावल की रोटी भी उपलब्ध कराए जाने की योजना है. साथ ही दही, घी, व गुड़ तैयार करने की भी योजना बनाई गई है.


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