आधार डाटा लीक पर EPFO का बड़ा बयान, CSC की सेवाएं रोकीं और सर्वर किया बंद
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आधार डाटा लीक पर EPFO का बड़ा बयान, CSC की सेवाएं रोकीं और सर्वर किया बंद

कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने सरकारी वेबसाइट से डाटा लीक की आशंका को खारिज किया

जांच पूरी होने तक सीएससी के जरिये सेवाएं प्रदान नहीं की जाएंगी. (फाइल फोटो)

नई दिल्ली: कर्मचारियों के आधार डाटा लीक की आशंका पर कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) ने आननफानन में अपने आनलाइन सामान्य सेवा केंद्र (CSC) की सेवाएं रोक दी हैं. उसका कहना है कि सीएससी की ‘संवेदनशीलता की जांच’ लंबित रहने तक इन सेवाओं को रोका गया है. हालांकि, ईपीएफओ ने सरकार की वेबसाइट से अंशधारकों का डाटा लीक की किसी आशंका को खारिज किया है. ईपीएफओ का यह बयान इन खबरों के बाद आया कि हैकर्स ने इलेक्ट्रॉनिक्स एवं आईटी मंत्रालय के तहत आने वाले साझा सेवा केंद्र द्वारा चलाई जाने वाली वेबसाइट aadhaar.epfoservices.com से अंशधारकों का डाटा चोरी किया है. ये रपटें ईपीएफओ केंद्रीय भविष्य निधि आयुक्त वीपी जॉय द्वारा सीएससी के मुख्य कार्यकारी अधिकारी दिनेश त्यागी को लिखे पत्र पर आधारित हैं.

  1. हैकरों ने अंशधारकों का डाटा चुराने की अफवाह
  2. ईपीएफओ ने 22 मार्च, 2018 से सारी सेवाएं रोकींं
  3. ईपीएफओ बोला किसी चिंता की जरूरत नहीं है

सीएससी का डाटा केंद्र से लेना-देना नहीं
ईपीएफओ ने बयान जारी कर कहा, 'डाटा या सॉफ्टवेयर की संवेदनशीलता को लेकर चेतावनी एक सामान्य प्रशासनिक प्रक्रिया है. इसी आधार पर सीएससी के जरिये प्रदान की जाने वाली सेवाओं को 22 मार्च, 2018 से रोक दिया गया है.' ईपीएफओ ने कहा कि ये रिपोर्ट सीएससी के जरिये सेवाओं के बारे में है और इनका ईपीएफओ सॉफ्टवेयर या डाटा केंद्र से लेना देना नहीं है. ईपीएफओ ने कहा कि डाटा लीक अब तक कोई पुष्टि नहीं हुई है. डाटा सुरक्षा और संरक्षण के लिए ईपीएफओ ने अग्रिम कार्रवाई करते हुए सर्वर को बंद कर दिया है. जांच पूरी होने तक सीएससी के जरिये सेवाएं प्रदान नहीं की जाएंगी. ईपीएफओ ने कहा कि किसी तरह की चिंता की जरूरत नहीं है. डाटा लीक की किसी भी संभावना को रोकने के लिए हरसंभव उपाय किए गए हैं. भविष्य में इस बारे में सतर्कता बरती जाएगी.

6.25 हजार करोड़ की पहले लगी थी चोट
कुछ दिन पहले एक मीडिया रिपोर्ट में दावा था कि ईपीएफओ में 6.25 हजार करोड़ का डिफॉल्ट हुआ है. 1539 सरकारी कंपनियों ने ईपीएफ के 1360 करोड़ रुपये नहीं जमा कराए जबकि प्राइवेट कंपनियों ने 4651 करोड़ रुपये नहीं जमा कराए. इन घपलेबाजों में कई बड़े नाम शामिल थे. कंपनियों को ट्रैक करने वाले ईपीएफओ के एक विभाग ने पाया कि खुद के प्रॉविडेंट फंड ट्रस्ट चलाने वाली इन 433 कंपनियों ने अपने कर्मचारी के फरवरी 2018 के पीएफ रिटर्न फाइल नहीं किए हैं.

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