घाटे में चल रही सरकारी विमानन कंपनी एयर इंडिया (Air India) को उबारने के लिए सरकार ने मेगा प्लान तैयार किया है. इसके लिए एयर इंडिया स्पेसिफिक अल्टेरनेट मेकेनिज्म तैयार किया गया है.
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समीर दीक्षित/ नई दिल्ली : घाटे में चल रही सरकारी विमानन कंपनी एयर इंडिया (Air India) को उबारने के लिए सरकार ने मेगा प्लान तैयार किया है. इसके लिए एयर इंडिया स्पेसिफिक अल्टेरनेट मेकेनिज्म तैयार किया गया है. इस प्लान के तहत विमानन कंपनी की वित्तीय हालत सुधारने के लिए सरकार की तरफ से 10 से 12 अहम कदम उठाए जाएंगे. इन कदमों में सरकार का ध्यान कास्ट कटिंग करने के साथ ही राजस्व बढ़ाने पर जोर रहेगा. आने वाले समय में सरकार का लक्ष्य इन कदमों को उठाकर सालाना 2000 करोड़ कमाने का है.
एयरलाइन 10 से 12 कदम पर काम शुरू करेगी
एयरलाइन सुझाए गए 10 से 12 कदम पर काम शुरू करेगी, जिससे सरकार को उम्मीद है कि सालाना 2000 करोड़ रुपये की अतिरिक्त कमाई या बचत हो सकती है. सिविल एविएशन सचिव आरएन चौबे के अनुसार एयर इंडिया को लेकर बनाए गए मेगा प्लान को इंटर मिनिस्ट्रियल ग्रुप को हाल में दिखाया गया है. इस प्लान को सरकार की तरफ से हरी झंडी दी जा चुकी है.
परफॉर्मेंस के आधार पर सरकार करेगी मदद
सरकार ने एयर इंडिया मैनेजमेंट को साफ तौर पर निर्देश दिया है कि सरकार एयरलाइन की मदद उसकी परफॉर्मेंस के आधार पर ही करेगी. यही नहीं सरकार एयर इंडिया के करीब 50,000 करोड़ के कर्ज के बड़े हिस्से को तकरीबन 29000 करोड़ रुपये को भी स्पेशल पर्पज व्हीकल (SPV) पर शिफ्ट करेगी. इस कदम से एयर इंडिया पर कर्ज का भारी दबाव काफी हद तक हल्का हो सकता है.
एयरलाइन की वित्तीय स्थिति मजबूत होगी
कर्ज की रकम में कटौती का सीधा मतलब है कि एयर इंडिया को बाकी बची कर्ज की रकम चुकाने में ज्यादा ब्याज नहीं देना होगा, जिससे एयर इंडिया को बड़ी राहत मिलेगी. सरकार एयर इंडिया की वित्तीय हालत सुधारने के बाद एक बार फिर विनिवेश के लिए कदम आगे बढ़ाएगी. मंत्रालय अधिकारियों के मुताबिक, एयर इंडिया की वित्तीय स्थिति मजबूत होने पर न केवल विनिवेश का रास्ता साफ और आसान हो सकेगा, साथ ही सरकार को एयर इंडिया की अच्छी कीमत भी मिल सकेगी.
इससे पहले खबर आई थी कि एयर इंडिया की योजना देशभर में 70 से ज्यादा आवासीय एवं व्यावसायिक संपत्तियों की बिक्री कर 700 से 800 करोड़ रुपये जुटाने की है. कंपनी की तरफ से जानकारी दी गई थी कि 16 शहरों में स्थित इन संपत्तियों की एमएसटीसी के जरिये ई-नीलामी की जाएगी.