27 जुलाई को लग रहा है सदी का सबसे लंबा चंद्रग्रहण, जानिए क्या होगा इसका असर
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27 जुलाई को लग रहा है सदी का सबसे लंबा चंद्रग्रहण, जानिए क्या होगा इसका असर

27 जुलाई को गुरुपूर्णिमा भी है, इसलिए इस दिन लगने वाला चंद्र ग्रहण कई मायनों में खास है. ज्योतिष के मुताबिक, इस बार चंद्र ग्रहण मकर राशि पर लग रहा है. 

प्रतीकात्मक फोटो

नई दिल्ली : सदी का सबसे लंबा चंद्र ग्रहण 27 जुलाई को लग रहा है. 27 जुलाई की रात 11.54 मिनट पर शुरू होने वाला यह चंद्र ग्रहण 3.49 मिनट तक रहेगा. चंद्र ग्रहण बेशक से आधी रात को लगेगा, लेकिन सूतक काल की शुरुआत दोपहर 2.54 मिनट पर ही हो जाएगी. इस दौरान 'ब्लड मून' भी दिखाई देगा. 27 जुलाई को गुरुपूर्णिमा भी है, इसलिए इस दिन लगने वाला चंद्र ग्रहण कई मायनों में खास है. ज्योतिष के मुताबिक, इस बार चंद्र ग्रहण मकर राशि पर लग रहा है. इस बार ग्रहण का असर शनि और चंद्रमा दोनों पर रहने वाला है. 

इन राशियों पर देखने को मिलेगा असर
सदी के सबसे लम्बे पूर्ण चंदग्रहण के दौरान चंद्रमा करीब एक घंटे 43 मिनट तक पृथ्वी की ओट में पूरी तरह छिपा दिखाई देगा. ज्योतिषाचार्यों के अनुसार इस चंद्रग्रहण कुछ राशि के जातकों के लिए खुशियां लेकर आएगा, जबकि कुछ राशि के जातकों के लिए यह नकारात्मक असर लेकर भी आ सकता है. ज्योतिष के मुताबिक, मेष, सिंह, वृश्चिक और मीन राशि पर इसका असर शुभ होगा, वहीं, मकर, मिथुन, कन्या और धनु राशि पर चंद्र ग्रहण का असर अशुभ देखने को मिलेगा. आइए जानते हैं कि चंद्र ग्रहण और राशि के अनुसार ऐसे कौन से काम हैं, जिन्हें करने से बचना चाहिए. 

मेष राशि के लोगों के लिए यह चंद्रग्रहण कई सारी खुशियां और नए अवसर लेकर आ रहा है. इस राशि के लोगों को ग्रहण के दौरान दान करना शुभ रहेगा.

सिंह राशिवालों के लोगों को चंद्रग्रहण के दौरान दान और उपासना करना सही है.
 
वृश्चिक राशिवालों को चंद्रग्रहण या सूतक काल के दौरान कोई भी शुभ कार्य करने से बचना चाहिए. 

मीन राशि के चंद्रग्रहण वैसे तो कई सारे शुभ संदेश लेकर आ रहा है, लेकिन ग्रहण के दौरान उन्हें अपने स्वास्थ्य का थोड़ा विशेष ध्यान रखने की आवश्यकता है.

क्या होता है ब्लडमून
चंद्र ग्रहण के दौरान पृथ्वी की छाया की वजह से धरती से चांद काला दिखाई देता है. 27 जुलाई तारीख को इसी चंद्रग्रहण के दौरान कुछ सेकेंड के लिए चांद पूरी तरह लाल भी दिखाई देगा. इसे ब्लड मून कहते हैं. बताया जाता है कि जब सूर्य की रोशनी छितराकर होकर चांद तक पहुंचती है तो परावर्तन के नियम के अनुसार हमें कोई भी वस्तु उस रंग की दिखती है जिससे प्रकाश की किरणें टकरा कर हमारी आंखों तक पहुंचती है. यही वजह है हमें चंद्रमा लाल दिखता है और इसी को हम सब ब्लड मून कहते हैं.

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