सोमवार से एक नई सुविधा शुरू हो रही है, जिससे आपको खरीदारी का भुगतान करने के लिए न तो मोबाइल की जरूरत होगी, न ही किसी कार्ड या ऐप की। बस आपका आधार नंबर ही इसके लिए काफी है।
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नई दिल्ली: सोमवार से एक नई सुविधा शुरू हो रही है, जिससे आपको खरीदारी का भुगतान करने के लिए न तो मोबाइल की जरूरत होगी, न ही किसी कार्ड या ऐप की। बस आपका आधार नंबर ही इसके लिए काफी है।
25 दिसंबर यानी क्रिसमस के दिन केंद्र सरकार आधार पेमेंट ऐप को लॉन्च करने जा रही है। इससे बाजार के मौजूदा खिलाडि़यों के बिजनेस को नुकसान पहुंच सकता है।आधार पेमेंट ऐप का उपयोग करने का एक और लाभ यह है कि इसमें पेमेंट सर्विस फीस नहीं लगेगी। जबकि अन्य कार्ड का उपयोग करने पर यह फीस चुकानी पड़ती है।
अपना आधार नंबर लेकर दुकानदार के पास जाइए, सामान खरीदिए और आधार नंबर बताकर पेमेंट कर दीजिए। न तो कैश लेकर जाना होगा, न ही एटीएम या डेबिट कार्ड की जरूरत होगी। यहां तक कि अगर आपके पास मोबाइल न भी हो तब भी आप आसानी से पेमेंट कर सकते हैं।
यूआईडीएआई के मुताबिक, इस ऐप का सबसे ज्यादा फायदा उन्हें मिलेगा, जिनके पास स्मार्टफोन नहीं है। उन्होंने बताया कि इस समय देश के करीब 40 करोड़ आधार नंबर बैंक खातों से कनेक्ट हैं। उनका लक्ष्य है कि मार्च 2017 तक देश के सभी आधार कार्डों को बैंक खातों से कनेक्ट कर दिया जाए।
अगर आप खरीदार हैं तो आपके पास आधार कार्ड या उसका नंबर होना चाहिए। एक बात का ध्यान रखना जरूरी है कि जिसका आधार नंबर होगा, उसे पेमेंट के समय उपस्थित रहना जरूरी है। एक बात का ध्यान रखना जरूरी है कि आपका आधार नंबर आपके बैंक खाते से जरूर जुड़ा हो, वरना इस सुविधा का लाभ आप नहीं उठा पाएंगे।
दुकानदारों के पास एंड्रॉयड स्मार्टफोन तथा इंटरनेट या डेटा पैक होना जरूरी होगा। इसी के साथ उन्हें अपने फोन पर आधार पेमेंट ऐप (कैशलेस मर्चेंट ऐप) भी डाउनलोड तथा इंस्टॉल करना होगा। इस ऐप से दुकानदार का बैंक खाता जुड़ा रहेगा।
इस एप के आ जाने के बाद से बायोमिट्रिक प्रणाली से जुड़े होने की वजह से लोगों से धोखाधड़ी किए जाने की शिकायतों में भी कमी आएगी। दुकानदार और कारोबारी आधार पेमेंट एप से भुगतान हासिल कर केडिट या डेबिड कार्ड, पिन और पासवर्ड जैसी प्रक्रियाओं से बच जाएंगे।
इसके लिए दुकानदार के पास एक स्मार्ट फोन और एक बायोमिट्रिक कार्ड रीडर होना चाहिए। इस ऐप को यूआईडीएआई, आईडीएफसी और नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया ने मिलकर बनाया है।