महिला पत्रकार से धक्का-मुक्की का मामला, दिल्ली पुलिस ने मीडिया से मांगी माफी
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महिला पत्रकार से धक्का-मुक्की का मामला, दिल्ली पुलिस ने मीडिया से मांगी माफी

जेएनयू छात्रों के प्रदर्शन के दौरान महिला पत्रकार से धक्का-मुक्की और उसका कैमरा छीन लेने के मामले में दिल्ली पुलिस ने माफी मांगी है. पुलिस की ओर से कहा गया कि ये सब एक गलतफहमी के कारण हुआ.

दिल्ली पुलिस द्वारा महिला पत्रकार से की गई थी धक्का मुक्की (फोटो-ANI)

नई दिल्ली: जेएनयू छात्रों के प्रदर्शन के दौरान महिला पत्रकार से धक्का-मुक्की और उसका कैमरा छीन लेने के मामले में दिल्ली पुलिस ने माफी मांगी है. पुलिस की ओर से कहा गया कि ये सब एक गलतफहमी के कारण हुआ. साथ ही ये भी कहा गया कि मामले में जांच के आदेश दिए गए हैं. गौरतलब है कि पुलिस द्वारा धक्का-मुक्की के बाद महिला पत्रकार ने शिकायत दर्ज करवाई थी. घटना का वीडियो भी तेजी से सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. जिसके बाद दिल्ली पुलिस को आलोचना झेलनी पड़ी थी. घटना के सामने आने के बाद मीडियाकर्मी पुलिस मुख्यालय पहुंचे. जहां शनिवार को उनकी पुलिसकर्मियों से तीखी बहस हो गई. इस दौरान पत्रकारों ने विरोध जताते हुए अपने कैमरे जमीन पर रख दिए. बाद में आला अधिकारियों के समझाने पर वे शांत हुए.ॉ

  1. दिल्ली पुलिस ने मांगी मीडिया से माफी
  2. महिला पत्रकार से हुई थी धक्का-मुक्की
  3. महिला पत्रकार ने दर्ज करवाई थी शिकायत

गलतफहमी के कारण हुई घटना
दिल्ली पुलिस के पीआरओ मधुर वर्मा ने घटना के बारे में मीडिया से बात करते हुए शनिवार को कहा कि, 'प्रदर्शन के दौरान पुलिस को वॉटर कैनन का इस्तेमाल करना पड़ा था, क्योंकि छात्र बैरिकेड्स को हटाकर संसद की ओर जाने की कोशिश कर रहे थे. इस दौरान वहां तैनात महिला पुलिसकर्मियां महिला पत्रकार को पहचान नहीं सकीं, और उन्हें लगा कि वो भी प्रदर्शन कर रही एक छात्रा है. इस वजह से उन्होंने उस पर बल का उपयोग किया. ये काफी दुर्भाग्यपूर्ण था. हमने मामले में जांच के आदेश दे दिए हैं.'

मधुर वर्मा ने आगे कहा, 'कल की घटना के लिए हम मीडिया से माफी मांगते हैं. हमारा इरादा मीडिया को उसके काम से रोकना नहीं था. गलतफहमी के कारण महिला पत्रकार को पुलिसकर्मियों ने आंदोलन कर रहे छात्र-छात्राओं में से एक समझ लिया था.'

VIDEO में देखें, पुलिस ने महिला पत्रकार के साथ की धक्का-मुक्की

ये है पूरा मामला
जेएनयू में 75 फीसदी उपस्थिति की अनिवार्यता और यौन उत्पीड़न के आरोपी शिक्षक के निलंबन की मांग को लेकर शुक्रवार को छात्र-छात्राओं ने संसद तक का मार्च निकाला था. लेकिन संसद तक पहुंचने से पहले ही पुलिस ने बैरिकेड्स लगाकर उन्हें रोक लिया. स्टूडेंट्स को रैली निकालने की अनुमति नहीं मिली थी, बावजूद इसके वे सड़कों पर निकल आए. बैरिकेड्स देख छात्रों ने उन्हें पार करने की कोशिश की और पुलिस से भिड़ गए. स्थिति को संभालने के लिए पुलिस ने हल्के बल व वॉटर कैनन का उपयोग किया. इस दौरान फोटो ले रही एक महिला पत्रकार को महिला पुलिसकर्मियों ने आगे जाने से रोकते हुए बलपूर्वक बैरिकेड्स के पास से हटा दिया. साथ ही उसका कैमरा भी छीन लिया. इस घटना के बाद महिला ने पुलिस के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई थी. वहीं घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था.

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