फरार नारायण सांई की तलाश में अब तक 150 छापे, पर कोई सुराग नहीं
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फरार नारायण सांई की तलाश में अब तक 150 छापे, पर कोई सुराग नहीं

नाबालिग लड़की से यौन शोषण मामले में बीस दिनों से फरार आसाराम के बेटे नारायण सांई की तलाश में जुटी सूरत पुलिस देशभर में डेढ़ सौ से भी अधिक जगहों पर छापा मार चुकी है, लेकिन अभी तक नारायण सांई को पकड़ने में सफल नहीं हो पाई।

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ज़ी मीडिया ब्यूरो
सूरत/जोधपुर/नई दिल्ली: नाबालिग लड़की से यौन शोषण मामले में बीस दिनों से फरार आसाराम के बेटे नारायण सांई की तलाश में जुटी सूरत पुलिस देशभर में डेढ़ सौ से भी अधिक जगहों पर छापा मार चुकी है, लेकिन अभी तक नारायण सांई को पकड़ने में सफल नहीं हो पाई। पुलिस इस मामले के सह अभियुक्तों नारायण सांई के सेवक हनुमान, सेविका गंगा और जमना का भी कोई सुराग नहीं ढूंढ पाई है। शनिवार को नारायण साईं के उत्तरप्रदेश के वाराणसी और मुंबई के विरार में होने की बात कही गई थी। पर वहां भी अभी तक कुछ पता नहीं चल पाया है।
गत दिनों सूरत की युवती ने नारायण सांई पर यौन शोषण का आरोप लगाते हुए जहांगीरपुरा थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई थी। उस दौरान नारायण सांई जयपुर में था। मामला दर्ज होने के बाद वह वहां से गायब हो गया। पुलिस ने उसके विदेश भागने का रास्ता बंद करने के इरादे से एयरपोर्ट ऑथोरिटी को लुकआउट नोटिस जारी किया था। इसके साथ ही गुजरात, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, बिहार, उत्तरप्रदेश, राजस्थान, हरियाणा व दिल्ली के पुलिस प्रमुखों को पत्र लिखकर नारायण सांई की तलाश में मदद मांगी थी।
इन राज्यों के पुलिस प्रमुखों ने विशेष पुलिस दस्तों को सांई की तलाश का जिम्मा सौंपा था। इसके अलावा विभिन्न राज्यों की सीआईडी (क्राइम) इकाइयों तथा स्टेट इंटलीजेंस यूनिटों से भी मदद ली। पुलिस ने इलेक्ट्रोनिक सर्वेलंस का भी सहारा लिया। लेकिन नारायण सांई अब तक पुलिस के हाथ नहीं आया है। पुलिस को डेढ़ से भी अधिक स्थानों पर नारायण साईं के देखे जाने की सूचनाएं मिल चुकी है। इन सूचनाओं पर पुलिस कार्रवाई भी कर चुकी है लेकिन पुलिस विफल साबित हुई है।
उधर, यौन शोषण मामले में आसाराम और उनके सहयोगियों को शनिवार सुबह कोर्ट में पेश किया गया। जहां कोर्ट ने उनकी न्यायिक हिरासत की अवधि 6 नवंबर तक बढ़ा दी। जोधपुर पुलिस ने नाबालिग से दुष्कर्म के आरोप में आसाराम के साथ ही छात्रावास निदेशक शरद, वार्डन शिल्पी उर्फ संचिता गुप्ता, सेवादार प्रकाश और रसोइए प्रकाश को चार्जशीट में आरोपी बनाया है। आसाराम को मुख्य आरोपी जबकि अन्य लोगों को साजिश में सह-आरोपी माना है। आईपीसी, जेजे एक्ट व पोक्सो अधिनियम इन गम्भीर आपराधिक धाराओं के तहत अदालत में भी यदि अपराध सिद्ध हो जाता है तो आसाराम को कम से कम दस वर्ष या आजीवन कारावास तक की सजा सुनाई जा सकती है।
शाहजहांपुर निवासी छात्रा की शिकायत पर पुलिस ने आसाराम के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 324, 376, 354ए, 506, 509/34 तथा 23 व 26 जेजे एक्ट और पोक्सो एक्ट की धारा 8 के तहत प्राथमिकी दर्ज की थी। अनुसंधान अधिकारी एसीपी (पश्चिम) चंचल मिश्रा ने जांच के बाद आसाराम को धर्मगुरू के रूप में विश्वास करने वाला व्यक्ति होते हुए भी दुष्कृत्य करने का दोषी माना है। साथ ही उनकी संस्था के सदस्यों ने समूह में ऐसी साजिश रची, इसलिए सामूहिक दुष्कर्म की धारा भी जोड़ी गई है। अब पुलिस आसाराम के खिलाफ आईपीसी की धारा 370, 342, 354ए, 376 (2) (एफ), 376 (डी), 506, 509 तथा 23 व 26 जेजे एक्ट और पोक्सो अधिनियम की धारा 5 (एफ)/6, 5(जी)/6, 17 व 8 के तहत आरोप लगाए किए हैं और इन्हीं के तहत चार्जशीट(आरोप पत्र) पेश की जाएगी। पोक्सो की इन धाराओं के तहत आसाराम को गुरूतर प्रवेशन लैंगिक हमले का दोषी माना गया है।
विवादास्पद आसाराम एवं उसके पुत्र नारायाण साईं के खिलाफ यौन उत्पीड़न का नए मामले दर्ज किए गए हैं क्योंकि दो बहनों ने उनके खिलाफ उत्पीड़न का आरोप लगाया था। आसाराम (75) को एक अल्पवय लड़की के साथ बलात्कार करने के आरोप में अगस्त में गिरफ्तार किया गया था और उसके बाद से वह राजस्थान की जोधपुर जेल में है। पुलिस ने बलात्कार, यौन उत्पीड़न, गैर कानूनी रूप से कब्जे में रखने एवं अन्य आरोपों में आसाराम एवं नारायण साईं के खिलाफ दो अलग-अलग मामले दर्ज किए हैं।
नारायण साई के खिलाफ सूरत के जहांगीरपुरा पुलिस थाने में मामला दर्ज किया गया है जबकि उसके पिता आसाराम के खिलाफ दर्ज मामले को अहमदाबाद स्थानांतरित कर दिया गया क्योंकि कथित घटना वहां हुई। बड़ी बहन ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया है कि आसाराम ने 1997 से 2006 के बीच उसका कई बार यौन उत्पीड़न किया जब वह अहमदाबाद शहर के बाहरी हिस्से में उसके आश्रम में रह रही थी। छोटी बहन ने नारायण साईं के खिलाफ लिखवायी शिकायत में कहा है कि वह जब उसके सूरत आश्रम में 2002 से 2005 के बीच में रह रही थी तो उसके साथ यौन उत्पीड़न किया गया।
नाबालिग से यौन शोषण का आरोपी आसाराम फिलहाल जोधपुर की सेंट्रल जेल में बंद है। आसाराम और नारायण साईं के खिलाफ शिकायत करीब छह साल बाद दर्ज कराई गई है। सूरत के पुलिस कमिश्नर राकेश अस्थाना ने बताया कि आईपीसी की धारा 120 बी,376(2), 377, 342, 354, 357, और 506(2) के तहत दो एफआईआर दर्ज कराई गई है। शिकायत के मुताबिक दोनों बहनें आसाराम के आश्रम के मेडिसिन सेंटर में बतौर सेविकाएं काम करती थी।

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