सूरज पर अपना नाम भेजने के इच्छुक लोग अपना नाम 27 अप्रैल, 2018 तक नासा को भेज सकते हैं. ये नाम ऑनलाइन भेजने होंगे.
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वाशिंगटन : दुनियाभर के वैज्ञानिक सुदूर अंतरिक्ष में पहुंचने की कोशिश कर रहे हैं. इंसान के कदम चांद तक पहुंच चुके हैं. अब वहां इंसानी बस्ती बसाने की योजना बन रही है. इसके साथ ही मंगल ग्रह पर भी इनसानों को पहुंचाने की तैयारी चल रही है. इसी बीच अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा लोगों के लिए ऐसी संभावना पर विचार कर रही है, जिसके जरिये लोग सूरज तक अपना नाम भेज सकेंगे. यह संभव होगा उसके पार्कर सोलर प्रोब नामक अंतरिक्ष शोध यान के जरिये. इस यान को इसी साल लांच करने की योजना पर काम चल रहा है.
कठिन है डगर
नासा के वैज्ञानिक थॉमस ज्यूबर्शेन के अनुसार सूरज ब्रह्मांड का सबसे चमकीला तारा है, जिसके चारों ओर नौ ग्रह चक्कर लगाते हैं. उसके करीब भी पहुंचना इनसान और विज्ञान, दोनों के लिए ही संभव नहीं है. लेकिन हम वैज्ञानिक आपका नाम सूरज तक पहुंचा सकते हैं. सूरज की तपिश और उसके इर्द-गिर्द फैले खतरनाक विकिरण को भी लांघते हुए आपका नाम सूरज के वातावरण के बेहद करीब पहुंचाया जाएगा.
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59 लाख किमी का सफर तय करेगा यान
नासा के इस अभियान में इस्तेमाल होने वाला अंतरिक्ष शोध यान पार्कर सोलर प्रोब छोटी कार के समान आकार का है. यह यान 59 लाख किमी का सफर तय करेगा. इस यान की अधिकतम रफ्तार 6.92 लाख किमी प्रति घंटा होगी. नासा के प्रोफेसर थॉमस ने कहा कि इसका मतलब यह हुआ कि वाशिंगटन से टोक्यो पहुंचने में एक मिनट का समय भी नहीं लगेगा. यह यान सीधे सूरज के वातावरण में सफर तय करेगा. इस मिशन का उद्देश्य यह जानना है कि किस प्रकार ऊर्जा और गर्मी सूरज के चारों ओर घेरा बनाकर रखती है.
नासा को 27 अप्रैल तक भेज सकते हैं नाम
थॉमस के मुताबिक सूरज पर अपना नाम भेजने के इच्छुक लोग अपना नाम 27 अप्रैल, 2018 तक नासा को भेज सकते हैं. ये नाम ऑनलाइन भेजने होंगे. लोगों के नामों को माइक्रोचिप पर लिखा जाएगा. यह माइक्रोचिप शोध यान के जरिये सूरज के करीब भेजी जाएगी. करीब जाने के बाद यह माइक्रोचिप सूरज के चारों ओर चक्कर लगाएगी.