Surya Mahadasha Upay: वैदिक ज्योतिष शास्त्र के अनुसार सभी ग्रहों की महादशाएं और अंतर्दशाएं व्यक्ति के जीवन पर अच्छा-बुरा प्रभाव डालती है. अगर किसी जातक की कुंडली में संबंधित ग्रह शुभ स्थिति हैं, तो उस ग्रह की महादशा में जातक को बेहद शुभ फल प्राप्त होते हैं. बता दें कि सूर्य को ग्रहें का राजा कहा जाता है. वे आत्मविश्वास, सफलता, सम्मान और सेहत प्रदान करते हैं.


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ऐसे में अगर किसी जातक की कुंडली में सूर्य शुभ स्थान पर होता है तो व्यक्ति को राजनीति, प्रशासन में ऊंच पद की प्राप्ति होती है. लीडरशिप रता है. सूर्य के शुभ होने पर व्यक्ति को जीवन में खूब सफलता और सम्मान की प्राप्ति होती है. वहीं, सूर्य के अशुभ होने पर व्यक्ति को असफलता और आत्मविश्वास में कमी का सामना करना पड़ता है.  


सूर्य की महादशा 6 साल तक चलती है


शास्त्रों के अनुसार सूर्य की महादशा कुल 6 साल की होती है. इस अवधि में जातक को राजनीति या प्रशासन में ऊंचे पद की प्राप्ति होती है. समाज में व्यक्ति को खूब मान-सम्मान मिलता है. लीडर की भूमिका पाता है. इतना ही नहीं, सूर्य देव की कृपा से व्यक्ति को जीवन मे एक के बाद एक सफलता मिलती है. और तेजी से तरक्की, पैसा और सम्मान की प्राप्ति होती है.


सूर्य महादशा का प्रभाव


ज्योतिष शास्त्र के अनुसार अगर किसी जातक की जन्मकुंडली में सूर्य शुभ हों, तो व्यक्ति को जीवन में सभी सुखों की प्राप्ति होती है. साथ ही, व्यक्ति को खूब सफलता, मनवांछित फल की प्राप्ति होती है. पिता से ढेर सारा लाभ मिलता है. प्रशासनिक पद की प्राप्ति होती है. व्यक्ति को सरकारी क्षेत्र में लाभ प्राप्त होता है.


वहीं, अगर सूर्य किसी व्यक्ति की कुंडली में अशुभ स्थिति में हों, तो उस दौरान व्यक्ति अंहकारी और क्रोधी हो जाता है. पिता के साथ व्यक्ति के संबंध खराब होते हैं. आंख और दिल की बीमारियां परेशान करने लगीत हैं. व्यक्ति को हाई ब्लड प्रेशर की शिकायत रहती है.  


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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)