अब नोएडा से भर सकेंगे उड़ान, 2024 में बनकर तैयार होगा देश का सबसे बड़ा एयरपोर्ट
लंबे समय से जेवर में एयरपोर्ट बनाने की चर्चा चल रही थी, अब ये हकीकत का रूप लेने वाला है. बुधवार को नोएडा में उत्तर प्रदेश सरकार ने नोएडा इंटरनेशल एयरपोर्ट, जेवर के विकास के लिए ज्यूरिख एयरपोर्ट इंटरनेशनल ए जी के प्रतिनिधियों के साथ `कंसेशन एग्रीमेंट` पर दस्तखत कर दिए.
नई दिल्ली: लंबे समय से जेवर में एयरपोर्ट बनाने की चर्चा चल रही थी, अब ये हकीकत का रूप लेने वाला है. बुधवार को नोएडा में उत्तर प्रदेश सरकार ने नोएडा इंटरनेशल एयरपोर्ट, जेवर के विकास के लिए ज्यूरिख एयरपोर्ट इंटरनेशनल ए जी के प्रतिनिधियों के साथ 'कंसेशन एग्रीमेंट' पर दस्तखत कर दिए. इस करार के बाद ज्यूरिख एयरपोर्ट इंटरनेशनल को 40 साल के लिए नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट का डिजाइन, कंस्ट्रक्शन और संचालन करने का लाइसेंस मिल गया है. इस एयरपोर्ट के बनने के बाद नोएडा, ग्रेटर, गाजियाबाद समेत आस-पास के कई जिले के लोगों को फ्लाइट पकड़ने के लिए दिल्ली एयरपोर्ट नहीं जाना होगा.
शानदार होगा नोएडा एयरपोर्ट
यह एयरपोर्ट दुनिया की बेहतरीन और नवीन तकनीक से बनेगा. नोएडा इंटरनेशल एयरपोर्ट, जेवर पूरी तरह से डिजिटल होगा. इस एयरपोर्ट पर मुसाफिरों को कस्टमाइज्ड सुविधाएं मिलेंगी, यानी यात्रियों की जरूरत के हिसाब से सारी सुविधाएं दी जाएंगी. यह एयरपोर्ट अपनी श्रेणी में पहला नेट जीरो एमीशन एयरपोर्ट होगा जो एविएशन के लिए नए मानदंड स्थापित करेगा.
कितना आएगा खर्च
गौरतलब है कि जेवर में एयरपोर्ट के लिए 6 गांवों के 5926 किसानों की जमीन का अधिग्रहण किया गया है. इन गांवों में रन्हेरा, रोही, पारोही, बनवारीवास, किशोरपुर, दयानतपुर गांव शामिल हैं. करीब 1,339 हेक्टेयर में बनाए जाने वाले इस हवाईअड्डे पर करीब 29,500 करोड़ रुपये की लागत आएगी.
एयरपोर्ट को चार चरणों में बनाया जाएगा
जब नोएडा एयरपोर्ट बनकर तैयार होगा तो इसमें 6 रनवे होंगे. जो देश का सबसे बड़ा इंटरनेशनल एयरपोर्ट होगा. जेवर एयरपोर्ट 5000 हेक्टेयर क्षेत्र में फैला होगा. आधिकारिक दस्तावेजों के मुताबिक एयरपोर्ट को चार चरणों में तैयार किया जाएगा.
1. पहले चरण में 1134 हेक्टेयर एरिया तैयार होगा, जिसे बनाने में 4,588 करोड़ रुपये खर्च होंगे. जिसकी क्षमता सालाना 12 लाख यात्रियों की होगी.
2. इसके बाद दूसरे चरण की शुरुआत होती, जिस पर कुल खर्च 5,983 करोड़ रुपये आएगा, सालाना यात्रियों की संख्या बढ़कर 30 लाख हो जाएगी.
3. तीसरे चरण में 50 लाख सालाना यात्रियों का लक्ष्य है, जिसे पूरा करने में 8,415 करोड़ रुपये की लागत आएगी.
4. चौथे और आखिरी चरण में यात्रियों की संख्या बढ़कर 70 लाख सालाना हो जाएगी जिसे बनाने में 10,575 करोड़ रुपये का खर्च आएगा.
बनेंगे रोजगार के मौके
यह एयरपोर्ट पूरे उत्तर भारत के लिए गेम चेंजर साबित हो सकता है. इससे बड़े पैमाने पर रोजगार भी मिलेगा और नौजवानों की तरक्की के रास्ते खुलेंगे. नोएडा एयरपोर्ट के जरिए योगी सरकार यूपी में बड़े पैमाने पर निवेश और रोजगार के आने की संभावना देख रही है. यूपी के अपर मुख्य सचिव, मुख्यमंत्री एवं नागरिक उड्डयन विभाग, एस. पी. गोयल के मुताबिक 'नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट का निर्माण राज्य में बड़े पैमाने पर रोजगार का सृजन करेगा साथ ही पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र भी बन जाएगा.
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