IDBI Bank Privitazation: पब्‍ल‍िक सेक्‍टर की इंश्‍योरेंस कंपनी एलआईसी (LIC) को उम्मीद है कि आईडीबीआई बैंक (IDBI Bank) का प्राइवेटाइजेशन होने तक उसमें किए गए 21,624 करोड़ रुपये के निवेश की वसूली हो जाएगी. एलआईसी को यह उम्मीद इसलिए है, क्योंकि आईडीबीआई के शेयरों में एक बार फिर तेजी देखने को मिल रही है. एक अधिकारी ने कहा कि पिछले साल मई में आईडीबीआई बैंक के निजीकरण की प्रक्रिया शुरू होने के बाद से शेयर की कीमत 35 रुपये प्रति शेयर से बढ़कर 45 रुपये प्रति शेयर हो गई है.


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45.48 फीसदी हिस्सेदारी सरकार के पास
उन्होंने कहा, 'हमें आईडीबीआई बैंक के शेयरों में और तेजी की उम्मीद है. कीमत, उस स्तर तक पहुंच सकती है, जिस पर एलआईसी ने 2019 में इसमें हिस्सेदारी खरीदी थी.' आईडीबीआई बैंक में सरकार और जीवन बीमा निगम (LIC) की संयुक्त रूप से 94.72 प्रतिशत हिस्सेदारी है. इसमें एलआईसी की हिस्सेदारी 49.24 फीसदी है, जबकि बाकी 45.48 फीसदी हिस्सेदारी सरकार के पास है.


2019 में 51 प्रतिशत हिस्सेदारी खरीदी थी
सार्वजनिक शेयरधारकों की हिस्सेदारी 5.28 फीसदी है. एलआईसी ने 2019 में 61 रुपये प्रति शेयर की औसत कीमत पर 21,624 करोड़ रुपये में आईडीबीआई बैंक में 51 प्रतिशत हिस्सेदारी खरीदी थी. दिसंबर 2020 में एक क्यूआईपी निर्गम के बाद एलआईसी की हिस्सेदारी घटकर 49 फीसदी रह गई थी. अधिकारी ने कहा, 'आईडीबीआई बैंक का निजीकरण सरकार और एलआईसी दोनों के लिए फायदे का सौदा होगा.' आईडीबीआई बैंक के निजीकरण की घोषणा 2021-22 के आम बजट में की गई थी. (भाषा)


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