नई दिल्ली: Printing Currency Notes: कोरोना महामारी के बढ़ते खतरे को देखते हुए महाराष्ट्र के नासिक में करेंसी नोटों की छपाई रोक दी गई है. एहतियातन महाराष्ट्र में ब्रेक द चेन (Break the chain) मुहिम के तहत ये कदम उठाया गया है. यहां नोटों की छपाई 30 अप्रैल तक बंद कर दी गई है. 


नासिक प्रेस में रुकी नोटों की छपाई


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

नासिक की करेंसी सिक्योरिटी प्रेस और इंडिया सिक्योरिटी प्रेस में 30 अप्रैल तक काम बंद कर दिया गया है. इन दोनों ही प्रेस में इस दौरान सिर्फ जरूरी सेवाओं से जुड़े कर्मचारी ही काम करेंगे, जैसे- फायर ब्रिगेड, पानी की सप्लाई और मेडिकल सेवाओं से जुड़े कर्मचारी ही अपनी-अपनी शिफ्ट में काम करेंगे. 


ये भी पढ़ें- Citibank भारत में समेटेगी अपना रीटेल बैंकिंग कारोबार, जानिए कर्मचारियों और खाताधारकों का क्या होगा?


40 परसेंट नोटों की छपाई यहीं होती है


इस दौरान नोटों की छपाई से जुड़े लोग नहीं आएंगे इसलिए नोटों की छपाई पूरी तरह बंद रहेगी. आपको बता दें कि भारत में सर्कुलेट होने वाले करीब 40 परसेंट नोट नासिक के करेंसी नोट प्रेस (CNP) में ही छपते है. इन दोनों ही कंपनियों में करीब 3000 कर्मचारी काम करते हैं. इन कर्मचारियों और इनके परिजनों की सेहत की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए ये फैसला लिया गया है.


पिछले साल भी रुकी थी छपाई


पिछले साल भी कोरोना महामारी के चलते करेंसी प्रेस नोट कुछ दिनों के लिए बंद की गई थी. पिछले साल भी नासिक की प्रेस को कुछ दिनों के लिए बंद करना पड़ा था. क्योंकि 40 स्टाफ कोरोना संक्रमित पाए गए थे. करेंसी नोट प्रेस, नासिक में हाई क्वालिटी के नोट्स छपते हैं. 


कैश की बजाय डिजिटल पेमेंट करें 


सरकार ने पिछले साल जब नोटों की छपाई बंद की थी तब लोगों से अपील की थी कि वो कैश की बजाय डिजिटल लेन-देन पर ज्यादा फोकस करें. दरअसल, नोटों से वायरस फैलने का भी खतरा ज्यादा होता है, क्योंकि कुछ लोग नोट गिनते समय थूक का इस्तेमाल करते हैं, जो कि बेहद खतरनाक है. इसलिए बेहतर होगा आप लेन-देन में नोटों की जगह डिजिटल मोड का इस्तेमाल करें. 


ये भी पढ़ें- वीडियो बनाओ, कार का Insurance पाओ, लॉकडाउन में तेजी से बढ़ा चलन, ऐसे करता है काम


VIDEO