नई दिल्ली : भारत में नौकरी करने वाले लोगों के मन में अक्सर इस बात का मलाल रहता है कि सैलेरी साल में सिर्फ एक ही बार बढ़ती है, लेकिन काम तो 365 दिन करना पड़ता है. अगर आप भी भारत के किसी शहर, प्रांत में रहते हैं और नौकरी करते हैं और इसी बात से ताल्लुकात रखते हैं तो ये खबर आपके लिए है.


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भारत में एक ऐसा शहर में बसता हैं, जहां पर तेजी से सैलेरी में इजाफा होता है. वो शहर कोई और नहीं बल्कि भारत की आर्थिक राजधानी मुंबई है. मुंबई में घरेलू आय वृद्धि की दर 2014-18 के दौरान दुनिया के 32 शहरों में तीसरे स्थान पर रही. यह जानकारी नाईट फ्रैंक की वैश्विक रपट अर्बन फ्यूचर्स से प्राप्त हुई है. 



रियल एस्टेट में सबसे महंगा शहर
रिपोर्ट में कहा गया है कि आय में तीव्र वृद्धि में पांच सालों के दौरान घरों की कीमतों में मामूली वृद्धि से मदद मिली है. घरों की कीमतों में मामूली वृद्धि के कारण मुंबई दुनिया के अन्य शहरों की बनिस्बत अधिक सस्ता शहर बन गया, जबकि भारत में रियल एस्टेट बाजार में अभी भी यह सर्वाधिक महंगा शहर बना हुआ है.


अब तक कितना हुआ इजाफा
नाईट फ्रैंक ने अपनी रिपोर्ट में कहा है, "घरों की कीमतें तुलनात्मक रूप से काफी धीमी आठ प्रतिशत की दर से बढ़ी हैं, जबकि घरों की आय वृद्धि दर 2018 में समाप्त पांच साल की अवधि के दौरान 20.4 प्रतिशत से अधिक रही." इस सर्वेक्षण में घरों की कीमतों और आय के बीच अंतर को समझने के लिए दुनिया के 32 शहरों का मूल्यांकन किया गया. सैन फ्रांसिस्को की आय वृद्धि दर सर्वाधिक 25 प्रतिशत रही, जबकि एम्सटर्डम में घर की कीमतों की वृद्धि दर सर्वाधिक 63.6 प्रतिशत दर्ज की गई.