NCERT Books class 8th and 11th: आपके बच्चे स्कूल में क्या पढ़ रहे हैं, क्या आपने कभी उनकी किताबों को पलट कर देखा है? ये सवाल हम इसीलिए पूछ रहे हैं क्योंकि NCERT की किताब को लेकर एक नया विवाद शुरू हो गया है. कक्षा 8वीं की इंग्लिश ग्रामर विथ टेक्स्ट बुक के पहले ही चैप्टर 'The Best Christmas Present in the World' में पेज 4 पर लिखा है कि 'One of the Germans was waving a bottle above his head. It is Christmas Day, Tommy. We have schnapps. We have sausage.'


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इस पूरे वाक्य का मतलब है
'शराब की बोतल सिर से लहराते हुए कहा जा रहा है, हमारे पास जर्मन शराब है और मसालेदार गोश्त है.


अगले पेज पर लिखा है, 'We shared my rum ration and his excellent sausage.'
इसका मतलब है कि 'हमने मेरी रम यानी शराब और उसका बेहतरीन मसालेदार गोश्त बांटा'


किताब में इन वाक्यों के जरिए ये बताने की कोशिश की जा रही है कि शराब पीकर और गोश्त खाकर त्योहारों को मनाया जाता है. इसी तरह 11वीं की इंग्लिश की बुक स्नेपशॉट्स का तीसरा चैप्टर है मदर्स डे, इसके लेखक हैं जे.बी. प्रीस्टली. बुक के पेज नंबर 21 पर लिखा है.
'Mrs Pearson smokes away-lighting another cigarette-and begins laying out the cards for patience on the table.'
जिसका मतलब है 'मिसेज पियरसन धूम्रपान करती हैं-दूसरी सिगरेट जलाती हैं-और धैर्य के साथ टेबल पर ताश के पत्ते बिछाती हैं.'


इंग्लिश की किताबों में इस तरह के चैप्टर्स और उसमें इस तरह का चित्रण देखकर कई पैरेंट्स सवाल खड़े कर रहे हैं.. क्या विवाद छिड़ा है.. हमारी इस रिपोर्ट में जानिए


NCERT की इंग्लिश टेक्स्ट बुक के चैप्टर्स को लेकर सवाल खड़े हुए हैं.
8वीं और 11वीं की किताब में लिखे टेक्स्ट को विवादित बताया जा रहा है.
किताब में अल्कोहलिक ड्रिंक.. और धुम्रपान के जिक्र से पेरेंट्स को ऐतराज है.


किताब के इन पन्नों को ही देख लीजिए. आठवीं के बच्चे पढ़ रहे हैं कि क्रिस्मस पर शराब और सौसेज बांटी जा रही है. वहीं ग्यारहवीं के बच्चे पढ़ रहे हैं कि मिसेज पियरसन टेबल पर बैठकर धुम्रपान कर रही हैं और पत्ते खेल रही हैं. किताब में इस कल्चर को शोकेस करने पर पेरेंट्स के साथ साथ टीचर्स भी सवाल खड़े कर रहे हैं.


यहां सवाल उठता है कि आखिर टीचर्स क्लासरूम में इन चैप्टर्स को पढ़ा कैसे पा रहे हैं?
स्कूल में टीचर्स से बातचीत में ये भी पता चला की सिर्फ इंग्लिश ही नहीं बल्कि कई और सब्जेक्ट्स में ऐसी चीजों का जिक्र है जिसे पढ़ाने में टीचर्स असहज हो जाते हैं.
NCERT की किताब में ड्रिंकिंग और स्मोकिंग कल्चर के जिक्र के बाद अब सिलेबस में बदलाव की मांग उठ रही है.
जिस देश में सिगरेट पीने की लीगल ऐज 18 साल है वहां 11वीं के बच्चों की किताब में स्मोकिंग का जिक्र ही क्यों है?
जिस देश में शराब पीने की लीगल ऐज 21 साल है. वहां 8वीं के बच्चों के टेक्स्टबुक में ड्रिंकिंग का जिक्र क्यों है?


पेरेंट्स के ऐतराज के बाद सिलेबस में बदलाव होगा या नहीं ये तो ये तो आने वाले समय में ही पता चलेगा, लेकिन यहां सवाल उठता है कि सिलेबस को बनाते वक्त इन चीजों का ख्याल क्यों नहीं रखा गया. क्या सिलेबस को बनाते वक्त इस बात का अंदाजा नहीं था की इन चैप्टर्स से बच्चों और अभिभावकों को ऐतराज हो सकता है.


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ये पहली बार नहीं है जब NCERT के पाठ्यक्रम पर सवाल उठा है. इससे पहले क्लास 3 की एक किताब में जिस लेटर का जिक्र था उसे लेकर लव जिहाद का सवाल उठा था.


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