Rahul Gandhi Sonia Gandhi: ना, किसी भ्रम में मत आइएगा. यह किसी तरह की पाबंदी नहीं है बल्कि दिल्ली में सियासी समीकरण ही ऐसा बन गया है कि कांग्रेस को यह दिन देखना होगा. जी हां, जब INDIA गठबंधन बना था और हाल में आम आदमी पार्टी के साथ सीटों का बंटवारा हुआ तब गांधी परिवार या कांग्रेस के रणनीतिकारों ने शायद सोचा नहीं होगा कि परिवार के ही तीन वोट पार्टी को नहीं मिल पाएंगे. जी हां, कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी नई दिल्ली लोकसभा क्षेत्र से वोटर हैं लेकिन इस बार लोकसभा चुनाव में वे अपनी ही पार्टी को वोट नहीं दे पाएंगे. 


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AAP के पास है नई दिल्ली सीट


दरअसल, सीट शेयरिंग में कांग्रेस ने गांधी परिवार वाली नई दिल्ली सीट अरविंद केजरीवाल की पार्टी को दे दी है. AAP नई दिल्ली, दक्षिणी दिल्ली, पूर्वी दिल्ली और पश्चिमी दिल्ली लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ रही है जबकि कांग्रेस को तीन सीटें मिली हैं. इनमें चांदनी चौक, उत्तर पूर्वी दिल्ली और उत्तर पश्चिमी दिल्ली शामिल हैं. गांधी परिवार जिस नई दिल्ली लोकसभा क्षेत्र का वोटर है, वह कांग्रेस का कभी गढ़ हुआ करता था लेकिन 2014 में चली मोदी लहर ने सारे समीकरण ध्वस्त कर दिए. 


बांसुरी Vs सोमनाथ


इस बार यहां से भाजपा की बांसुरी स्वराज उम्मीदवार हैं और आम आदमी पार्टी ने सोमनाथ भारती को उतारा है. 


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ऐसा शायद पहली बार होगा जब आजादी के बाद गांधी परिवार के सदस्य अपनी पार्टी को वोट नहीं दे पाएंगे. दरअसल, कांग्रेस के घटते जनाधार के चलते पार्टी को यूपी, दिल्ली समेत कई राज्यों में दूसरे दलों से हाथ मिलाने के लिए मजबूर होना पड़ा है. 


पहले माकन की थी सीट


1952 से 2009 के बीच नई दिल्ली सीट से कांग्रेस 7 बार जीत हासिल कर चुकी है. दो लोकसभा चुनावों में लगातार भाजपा की मीनाक्षी लेखी जीतती रहीं. 2004 और 2009 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस नेता अजय माकन नई दिल्ली सीट से ही जीतकर संसद पहुंचे थे. इसी क्षेत्र में कांग्रेस के तीनों वरिष्ठ नेताओं के घर हैं और इसलिए वे यहीं के वोटर हैं. प्रियंका के पति रॉबर्ट वाड्रा और कांग्रेस पार्टी से राज्यसभा सदस्य राजीव शुक्ला भी यहां से वोटर हैं. 


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