Impact Of Bariatric Surgery On Weight Loss: बेरिएट्रिक सर्जरी, जिसे वेट लॉस सर्जरी के तौर पर भी जाना जाता है, ये गंभीर मोटापे से जूझ रहे लोगों के लिए एक हद से ज्यादा असरदार समाधान के रूप में उभरा है. वजन घटाने ते अलावा ये प्रॉसेस कई हेल्थ बेनेफिट्स भी देता है, जिससे ये कई लोगों के लिए जिंदगी बदलने वाला ऑप्शन बन जाता है। यह लेख वजन प्रबंधन और समग्र स्वास्थ्य पर बेरिएट्रिक सर्जरी के प्रभाव में तल्लीन करता है. 'प्रिस्टीन केयर' के चीफ बेरिएट्रिक सर्जन डॉ. मोहित भंडारी (Dr. Mohit Bhandari) ने बताया कि बेरिएट्रिक सर्जरी से वेट मैनेजमेंट और ओवरऑल हेल्थ पर क्या फर्क पड़ता है.


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बेरिएट्रिक सर्जरी क्या है?


बेरिएट्रिक सर्जरी में कई तरह की प्रक्रियाएं शामिल होती हैं जो वजन घटाने में मदद करने के लिए पाचन तंत्र को बदल देती हैं. सबसे कॉमन तरह की सर्जरी गैस्ट्रिक बाईपास, स्लीव गैस्ट्रेक्टोमी और एडजस्टेबल गैस्ट्रिक बैंडिंग हैं. ये सर्जरी या तो पेट द्वारा होल्ड किए जा सकने वाले भोजन की मात्रा को सीमित करके या पाचन प्रक्रिया को बदलकर काम करती हैं, जिससे न्यूट्रिएंट्स का एब्जॉर्ब्शन कम हो जाता है.


 


बेरिएट्रिक सर्जरी के फायदे


बेरिएट्रिक सर्जरी के सबसे ज्यादा ध्यान देने लायक असर में से अहम है वेट लॉस. सर्जरी के बाद पहले साल के अंदर मरीजों को आमतौर पर अपने शरीर के एक्सट्रा वेट का 50% से 70% के बीच खो देते हैं. इस तरह का वेट लॉस ट्रेडिशनल डाइटिंग और एक्सरसाइड के साथ देखी जाने वाली अक्सर निराशाजनक धीमा प्रोग्रेस के उलट है.



बेरिएट्रिक सर्जरी के जरिए हासिल किए जाने वाला वेट लॉस न सिर्फ स्पीड से भरा है है, बल्कि अधिक टिकाऊ भी है. कई मरीज अपने वेट लॉस को लंबे समय तक बरकरार रखते हैं, जो उनकी जिंदगी की ओवरऑल क्वॉलिटी में सुधार के लिए जरूरी है. इसके कई साइकोलॉजिकल बेनेफिट्स भी हैं जैसे सेल्फ स्टीम में इजाफा, डिप्रेशन में कमी वगैरह.



वेट लॉस के अलावा क्या फायदे हो सकते हैं?


इस बात में कोई शक नहीं है कि बेरिएट्रिक सर्जरी का असल मकसद वजन कम करना है, लेकिन ये प्रोसेस  कई एक्सट्रा फायदे भी पहुंचाता है. मोटापा क्रोनिक कंडीशन की एक सीरीज के लिए एक अहम रिस्क फैक्टर है, जिसमें टाइप 2 डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर, स्लीप एपनिया और हार्ट डिजीज शामिल हैं. बेरिएट्रिक सर्जरी को इन परेशानियों को दूर करने या काफी सुधार करने के लिए जाना जाता है.



इसके अलावा ये सर्जरी बीपी और कोलेस्ट्रॉल के लेवल को कम करके दिल पर प्रेशर को कम कर सकती है, जिससे हार्ट डिजीज का खतरा घट सकता है. स्लीप एपनिया, एक ऐसी स्थिति जो अक्सर मोटापे से जुड़ी होती है, इसमें भी काफी सुधार देखा जा सकता है, जिससे नींद की क्वालिटी बेहतर होती है और दिन की थकान कम होती है.


क्वालिटी ऑफ लाइफ होगी बेहतर


बेरिएट्रिक सर्जरी के जरिए हासिल होने वाले वेट लॉस से शरीर की गतिशीलता और शारीरिक कार्य में भी सुधार होता है. पेशेंट अक्सर खुद को फिजिकल एक्टिविटीज में शामिल होने में अधिक सक्षम पाते हैं, जो वेट मैनेजमेंट और ओवरऑल हेल्थ में मदद करता है. शारीरिक गतिविधि में ये बदलाव, बेहतर सेल्फ इमेज और कॉन्फडेंस के साइकोलॉजिकल बेनेफिट्स के साथ मिलकर लाइफ क्वालिटी को बेहतर बना सकता है.