उन्होंने कहा कि प्रशांत किशोर के साथ मिलकर चिराग पासवान ने चुनाव में काम किया है. नीतीश कुमार को हराने के लिए कांग्रेस और दूसरे दलों से पैसा लेकर खेल किया गया है. जल्द पैसों के मामलों को लेकर और भी खुलासे करूंगा.
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पटना: बिहार विधानसभा चुनाव में एलजेपी के प्रदर्शन को लेकर भले ही लोगों की अलग-अलग राय हो, लेकिन पार्टी वोट प्रतिशत के मामले में काफी बेहतर स्थिति में रही. अब चुनाव परिणाम आ जाने के बाद एलजेपी में टूट हो गई है. 27 एलजेपी नेताओं ने एलजेपी का साथ छोड़ दिया है.
चिराग पासवान के नेतृत्व में एलजेपी ने अकेले ही विधानसभा चुनाव लड़ा था. लेकिन पार्टी अपेक्षित सफलता हासिल नहीं कर सकी. अब केशव सिंह ने एलजेपी से किनारा कर लिया है. केशव सिंह के अलावा पार्टी के तीन जिलाध्यक्षों ने एलजेपी को टाटा गुड बाय कह दिया है.
दरअसल, बताया जा रहा है कि एनडीए के साथ गठबंधन टूटने की वजह से कई नेता नाराज चल रहे थे. एलजेपी के बागी नेता एनडीए के घटक दलों से संपर्क करेंगे. यानी एनडीए के जिस दल में उन्हें सम्मान मिलेगा, सभी एलजेपी के बागी नेता उसी दल में शामिल होंगे.
इस मौके पर एलजेपी के 27 अलग नेताओं के किनारा करने वालों में सबसे बड़े नेता केशव सिंह ने कहा कि एलजेपी के सांसद और नेता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान की कार्यशैली से नाराज चल रहे थे.
आगे उन्होंने कहा कि प्रशांत किशोर के साथ मिलकर चिराग पासवान ने चुनाव में काम किया है. नीतीश कुमार को हराने के लिए कांग्रेस और दूसरे दलों से पैसा लेकर खेल किया गया है. जल्द पैसों के मामलों को लेकर और भी खुलासे करूंगा.