Acupressure Therapy: हाथ और पैरों की ये थेरेपी आपको रखे निरोग, बस करना होगा ये सरल काम
योगचार्य अवधेश ने बताया कि मनुष्य के हाथ और पौरों में कई ऐसे पॉइंट है जिनके माध्यम से आप अपने शरीर को रोग से मुक्त कर सकते हैं. उनका कहना है कि शरीर में जो ऊर्जा प्रवाहित होती है. वह कैसे हम सोचते है, कैसे महसूस करते है और कैसे सांस लेते हैं.
पटना: एक्यूप्रेशर थेरेपी के बात करें तो वो एक प्राचीन चिकित्सा कला है, जिसमें हाथों और पैरों की उंगलियों से धीरे-धीरे दबाव देकर किसी रोग से पीड़ित व्यक्ति को राहत दी जा सकती है. एक्यूप्रेशर एक ऐसी क्रिया है जो शरीर में सभी बाधाओं और रुकावटों को रोकता है. इसके अलावा शरीर के अंदर हर ऊर्जा का संचार करता है. अगर लोग सुबह शाम नियमित रूप से इस क्रिया का पालन करते है तो बड़े से बड़े रोग से निरोग हो सकते हैं.
हाथ और पौरों में इन पॉइंट से खुद को रख सकते हैं निरोग
योगचार्य अवधेश ने बताया कि मनुष्य के हाथ और पौरों में कई ऐसे पॉइंट है जिनके माध्यम से आप अपने शरीर को रोग से मुक्त कर सकते हैं. उनका कहना है कि शरीर में जो ऊर्जा प्रवाहित होती है. इसके अलावा व्यक्ति को एक्यूप्रेशर चिकित्सा देकर उसके शरीर में अंदर ऊर्जा को प्रवाहित कर सकारात्मक विचारों को लाने का प्रयत्न किया जाता है.
इम्यून सिस्टम को बढ़ाने में काम करता है एक्यूप्रेशर थेरेपी
एक्यूप्रेशर थेरेपी मनुष्य के शरीर में इम्यून सिस्टम को बढ़ाने का काम करता है और शरीर को तनाव का निवारण करने, सर्कुलेशन को बढ़ाने, पीड़ा कम करने के साथ ही व्यक्ति में आध्यात्मिकता बढ़ाती है और स्वास्थ्य के देखभाल के लिए प्रेरित करती है. साथ ही बता दें कि सी ऑफ ट्रंक्वालिटी, लेग थ्री माइलस, थर्ड आइ, पेरीकार्डियम, जोइनिंग द वैली आदि एक्यूप्रेशर प्वॉइंट की टिप्स आदि से रोग से निरोग हो सकते है.
गर्भवती महिला ना करें एक्यूप्रेशर थेरेपी का इस्तेमाल
अवधेश के अनुसार बता दें कि एक्यूप्रेशर का इस्तेमाल आमतौर पर बहुत सुरक्षित माना जाता है, लेकिन यदि आप कैंसर, अर्थराइटिस, ह्रदय रोग जैसी अन्य किसी प्रकार की गंभीर बीमारियों से पीड़ित है तो एक्यूप्रेशर थेरेपी के उपयोग करने से पहले अपने आसपास किसी अच्छे डॉक्टर की सलाह ले और साथ ही प्रेगनेंसी के दौरान एक्यूप्रेशर थेरेपी के इस्तेमाल से महिलाओं का गर्भपात हो सकता है. क्योंकि प्रेशर प्वांइट पर रगड़ एवं दबाव पड़ने की वजह से मां व शिशु के शरीर को नुकसान होता है. इसलिए गर्भवती महिलाएं इस थेरेपी को भूल कर भी ना करें. जिन लोगों की हडि्डयों में फ्रैक्चर हो उन्हें एक्यूप्रेशर थेरेपी नहीं करनी चाहिए. इस दौरान उनका दर्द बढ़ सकता है.
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