लोक अदालत के लिए कुल 47वें बेंच का गठन किया गया, जिसमें 19वें नबंर बेंच का सदस्य ट्रांसजेंडर अमृता अल्पेश सोनी को बनाया गया है.
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Ranchi: रांची में शानिवार को लोक अदालत (lok Adalat) का आयोजन किया गया. इस लोक अदालत में एक बेहद खास चीज देखने को मिली. लोक अदालत के लिए कुल 47वें बेंच का गठन किया गया था, जिसमें 19वें नबंर बेंच का सदस्य ट्रांसजेंडर (Transgender) अमृता अल्पेश सोनी (Amruta Alpesh Soni) को बनाया गया है. जिला विधिक सेवा प्राधिकार द्वारा आयोजित इस लोक अदालत में अमृता अल्पेश सोनी के जिम्में आपसी विवाद, वैवाहिक मामलों के साथ आपसी विवाद से जुड़े मामले है.
लोक अदालत में चुने जाने के बाद अमृता अल्पेश सोनी ने खुशी जाहिर करते हुए कहा है कि वो ट्रांसजेंडर होने को कमजोरी नहीं मानती हैं. उनका मानना है वो स्त्री और पुरुष दोनों का मन को लेकर चलती हैं और इसलिए उन्हें उम्मीद है कि वो दोनों के लिए न्याय कर पाएंगी.
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अपनी शिक्षा को लेकर अमृता ने बताती हैं कि वो ग्रेजुएट हैं, लेकिन अपनी आजीविका चलाने के लिए बार डांसर तक बन चुकी हैं. इसके अलावा फीमेल सेक्स वर्कर की तरह सेक्स वर्क भी कर चुकी हूं. वो 2012 से एचआईवी (HIV) पॉजिटिव हैं और इसके साथ खुलेतौर पर जी रही हूं. इनके साथ 2012 मे सामूहिक दुष्कर्म की भी घटना हुई है.
अपनी इस उपलब्धि पर अमृता अपलेश गौरवान्वित महसूस कर रही हैं. इस पर अमृता अपलेश कहता है क यहां तक पहुंचना उनके लिए बहुत बड़ी बात है. इसके अलावा वो देश की पहली किन्नर हैं जो छतीसगढ़ में स्वास्थ्य विभाग के साथ नोडल अधिकारी के रूप में भी काम कर चुकी हैं. इसके बाद वो अब झारखंड में पहली लोक अदालत की सदस्य बन गई हैं. इसके जरिए वो ट्रांसजेंडर कम्युनिटी को सामने लाना चाहती हैं. वो ट्रांसजेंडर होने पर पर गर्व करती हैं.