बिहार के शिक्षा मंत्री ने घर पर लागवाया नोटिस, लिखा- 'एडमिशन के लिए पैरवी नहीं कराएं'
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बिहार के शिक्षा मंत्री ने घर पर लागवाया नोटिस, लिखा- 'एडमिशन के लिए पैरवी नहीं कराएं'

सरकारी आवास के कार्यालय में सफेद कागज पर मोटे-मोटे अक्षरों में पैरवी नहीं कराने का संदेश लिखा गया है.

कृष्णनंदन वर्मा ने अपने आवासीय परिसर में नोटिस लगवा दिया है.

नवजीत कुमार, पटना : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के चहेते मंत्रियों में शुमार कृष्णनंदन वर्मा ने अपनी लाचारी व्यक्त की है. शिक्षा मंत्री ने मुलाकातियों से बड़े ही लाचारी भरे शब्दों में आग्रह किया है कि उनसे स्कूलों में नामांकन के लिए पैरवी ना कराएं. बिहार में शायद यह पहला मौका होगा जब कोई मंत्री खुले तौर पैरबी नहीं कराने की अपील जनता से की है. शिक्षा मंत्री कृष्णनंदन वर्मा नीतीश सरकार के विधि और समाज कल्याण जैसे अति महत्वपूर्ण विभाग की जिम्मेदारी भी संभाल रहे हैं.

दरअसल, शिक्षा मंत्री कृष्णनंदन वर्मा ने अपने सरकारी आवास पर नोटिस चिपकाया है. नोटिस स्कूलों में नामांकन के लिए पैरवी नहीं कराने से संबंधित है. मुलाकात के लिए आए लोगों के लिए सूचना मुख्य द्वार से लेकर आवास के अंदर तक चिपकाया है. सरकारी आवास के कार्यालय में सफेद कागज पर मोटे-मोटे अक्षरों में पैरवी नहीं कराने का संदेश लिखा गया है.

कृष्णनंदन वर्मा आगंतुकों के द्वारा नामांकन की पैरवी की चिट्ठी लिखवाने से इतने परेशान हैं कि आवसीय परिसर के पेड़ों पर भी यह नोटिस चिपका दी है. सभी आगंतुकों से वे आग्रह कर रहे हैं कि उनसे स्कूलों में नामांकन को लेकर चिट्टी नहीं लिखवाएं. उन्होंने नोटिस में लिखवाया है, 'कृपया किसी भी स्कूल में नामांकन के लिए पत्र मांग कर शर्मिंदा नहीं करें.'

इन दिनों प्राइवेट स्कूलों में नामांकन का दौर जारी है. नामांकन को लेकर शिक्षा मंत्री के पास सैकड़ों लोग अपनी अर्जी लेकर पहुंच रहे हैं. मंत्री से आग्रह करते हैं कि उनके बच्चों के नामांकन को लेकर एक अनुशंसा पत्र लिख दें. उनके पास इतनी संख्या में अनुशंसा करवाने की अर्जी पहुंच रही है कि उन्होंने लचारी में नोटिस ही चिपका दिया. एक बात और है कि ज्यादातर पैरवी कॉन्वेंट स्कूलों के लिए आ रही है.

सूत्र बताते हैं कि स्कूलों में नामांकन के लिए पैरवी बेकार चली जाती है. तमाम मिशनरी स्कूल शिक्षा मंत्री की चिट्ठी को नजरअंदाज कर देते हैं. ऐसे में शिक्षा मंत्री अपनी मार्यादा को तोड़ आगंतुकों से अपील की या फिर अपनी लाचारी व्यक्त कर दी है.