मूर्ति और पंडाल की अनुमति पर जिला प्रशासन उचित निर्णय लें: पटना हाई कोर्ट
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मूर्ति और पंडाल की अनुमति पर जिला प्रशासन उचित निर्णय लें: पटना हाई कोर्ट

 पटना हाईकोर्ट ने संबंधित जिला अधिकारियों और प्रशासन को निर्देश दिया कि 17 अक्टूबर से होने वाले दुर्गा पूजा पंडाल और मूर्ति को लेकर उचित निर्णय ले.

 पूजा पंडाल और मूर्ति निर्माण को लेकर 17 अक्टूबर से प्रतिबंध लगा दिया था. (फाइल फोटो)

पटना: बिहार के पटना हाईकोर्ट ने संबंधित जिला अधिकारियों और प्रशासन को निर्देश दिया कि 17 अक्टूबर से होने वाले दुर्गा पूजा पंडाल और मूर्ति को लेकर उचित निर्णय ले. मालूम हो कि राज्य सरकार ने कोरोना संक्रमण के मद्देनजर रखते हुए पूजा पंडाल और मूर्ति निर्माण को लेकर 17 अक्टूबर से प्रतिबंध लगा दिया था. 

जिसके खिलाफ अधिवक्ता रंजन  कुमार श्रीवास्तव ने एक लोकहित याचिका दायर की थी. जिस पर मुख्य न्यायाधीश संजय करोल एवं न्यायाधीश संजय कुमार की दो सदस्यीय खंडपीठ ने सुनवाई की. वकील ने खंडपीठ को जानकारी दी कि राज्य सरकार ने कोरोना के बहाने पंडाल के निर्माण और मूर्ति निर्माण पर रोक लगा दिया है. 

जबकि यह ऐतिहासिक पूजा पाठ का अवसर है. भारतीय संविधान  के तहत इस पर कोई रोक नहीं लगा सकता है. जबकि यह बिहार, बंगाल और झारखंड का मुख्य त्यौहार है. केंद्र सरकार ने 30 सितंबर को गाइडलाइन जारी किया है जिसमें अनेक प्रकार के प्रतिबंधों को हटा दिया गया है. 

वहीं, वकील का कहना था कि ऐसे त्योहारों में प्रतिबंध लगाना मुनासिब नहीं है. बंगाल सरकार ने प्रतिबंध को हटा दिया है. इस पर खंडपीठ ने जिला प्रशासन को 17 अक्टूबर तक उचित निर्णय ले लेने को कहा है.