Aam Ki Lakdi: हिंदू धर्म में हवन का विशेष महत्व है और इसे पूजा-अनुष्ठान का अहम हिस्सा माना जाता है. जब हम हवन करते हैं, तो अक्सर आम की लकड़ी का उपयोग करते हैं, लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि हवन में सिर्फ आम की लकड़ी ही क्यों जलाई जाती है. इसके पीछे धार्मिक और वैज्ञानिक दोनों कारण छिपे हुए हैं.


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आचार्य मदन मोहन के अनुसार आम की लकड़ी को पवित्र, उर्वर और देवत्व का प्रतीक माना जाता है. इसलिए हवन में इसका उपयोग किया जाता है. कहा जाता है कि हवन में आम की लकड़ी जलाने से वातावरण की नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है. जब नवविवाहित जोड़ों के लिए हवन किया जाता है, तो आम की लकड़ी उनके जीवन से नकारात्मक शक्तियों को खत्म कर सुख-शांति लाने में मदद करती है. हवन के दौरान आम की लकड़ी के साथ कपूर, चंदन, धूप और अन्य सामग्रियों का भी उपयोग होता है, जो हवन को और भी शुभ और प्रभावी बनाते हैं.


साथ ही हवन में आम की लकड़ी का उपयोग करने के पीछे वैज्ञानिक कारण भी हैं. वैज्ञानिक शोध के अनुसार आम की लकड़ी जलाने पर बाकी लकड़ियों की तुलना में कम कार्बन डाइऑक्साइड निकलती है. इसके साथ ही यह लकड़ी बहुत ज्वलनशील होती है, जिससे हवन के दौरान जल्दी आग पकड़ती है. जब आम की लकड़ी जलती है, तो इसमें से फार्मिक एल्डिहाइड नाम की एक गैस निकलती है जो हानिकारक बैक्टीरिया और जीवाणुओं को नष्ट कर देती है. इस प्रकार आम की लकड़ी से हवन करने पर वातावरण शुद्ध होता है और हवन के स्थान पर सकारात्मक ऊर्जा का प्रभाव बढ़ता है.


हवन में आम की लकड़ी के उपयोग से कई लाभ होते हैं. इससे वातावरण साफ-सुथरा रहता है और घर की नकारात्मक शक्तियां दूर होती हैं. इसके अलावा आम की लकड़ी से हवन करने से मानसिक तनाव कम होता है, जिससे व्यक्ति के मन में शांति का अनुभव होता है. अगर घर में छोटे बच्चे का जन्म हुआ हो, तो हवन कराने से बच्चे पर किसी भी तरह के ग्रह दोषों का असर नहीं होता और उसका स्वास्थ्य बेहतर रहता है. इस प्रकार धार्मिक और वैज्ञानिक दृष्टिकोण से हवन में आम की लकड़ी का उपयोग बेहद लाभकारी माना गया है.


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