Bihar Politics: तेजस्वी यादव के खिलाफ चार्जशीट फाइल होने के दिन ही राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश ने बिहार के सीएम नीतीश कुमार से मुलाकात की है. दोनों के बीच सोमवार को करीब डेढ़ घंटे तक मुलाकात हुई, जिससे बिहार की सियासी हलचल और तेज हो गई है. उपसभापति हरिवंश को सीएम नीतीश कुमार और पीएम मोदी दोनों का करीबी माना जाता है. जिस दिन हरिवंश ने सीएम नीतीश कुमार से मुलाकात की है, उसी दिन लैंड फॉर जॉब केस में राजद नेता और बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की गई है. 


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इस मुलाकात के कई मायने निकाले जा रहे हैं. तेजस्वी यादव के खिलाफ जो चार्जशीट दाखिल की गई है, उस पर दिल्ली के राउज एवेन्यू कोर्ट में 12 जुलाई को सुनवाई होगी. चार्जशीट में तेजस्वी यादव को लैंड फॉर जॉब केस में आरोपी बनाया गया है. इस कारण हरिवंश और सीएम नीतीश कुमार की मुलाकात के कई मायने निकाले जा रहे हैं. पिछले दो-तीन दिनों से सीएम नीतीश कुमार अपनी पार्टी के विधायकों और सांसदों से वन टू वन मिल रहे हैं. यह भी हो सकता है कि हरिवंश की नीतीश कुमार से मुलाकात उसी कड़ी का एक हिस्सा हो, लेकिन बिहार की राजनीति को जानने वालों का कहना है कि यह मुलाकात जितनी सरल दिख रही है, उतनी है नहीं. 


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कहां तो एक समय हरिवंश को पार्टी अध्यक्ष ललन सिंह और पार्टी प्रवक्ता नीरज कुमार ने पत्रकारिता को शर्मसार करने का आरोप लगाया था. तब माना जा रहा था कि आज नहीं तो कल हरिवंश पर पार्टी की ओर से गाज गिराई जाएगी और उन्हें बाहर का रास्ता दिखाया जाएगा. लेकिन अब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की उनसे मुलाकात हो रही है. और इस मुलाकात की टाइमिंग भी बहुत महत्वपूर्ण है.


दरअसल, नीतीश कुमार और उनकी पार्टी ने नए संसद भवन के उद्घाटन के मौके पर विरोध करने का निर्णय लिया था. नीतीश कुमार की पार्टी के अलावा करीब 20 दलों ने उद्घाटन समारोह का बहिष्कार भी किया था, लेकिन राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश समारोह में मौजूद थे. इसके बाद जेडीयू ने आधिकारिक रूप से हरिवंश के शामिल होने पर गहरी नाराजगी जताई थी. उसके बाद सीएम नीतीश कुमार और हरिवंश की यह पहली मुलाकात है. बताया जा रहा है कि नए संसद भवन के उद्घाटन के बाद नीतीश कुमार और हरिवंश के बीच संवादहीनता की स्थिति पैदा हो गई थी.