सीतामढ़ी: बिहार के सीतामढ़ी में शराब माफिया के साथ थानेदार की हमदर्दी महंगी पड़ गई है और काली करतूत के कारण निलंबित होना पड़ गया. या मामला सीतामढ़ी के सोनबरसा थाने का है. यहां रात में शराब के साथ पकड़ी गई स्कॉर्पियो सुबह में पुरानी हो गई. गाड़ी की नंबर तो वहीं रहा, मगर पूरी गाड़ी थानेदार ने बदल दी. सुबह जब शराब संग गाड़ी पकड़ने की जानकारी दूसरे वाहन मालिक को मिली तो मामले ने तूल पकड़ लिया. वरीय अधिकारियों के संज्ञान में थाने से गाड़ी बदल दिए जाने का मामला लाया गया, जिसके बाद एसपी मनोज कुमार तिवारी ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच के बाद थानाध्यक्ष मनीष कुमार को गाड़ी बदले जाने के मामले में दोषी पाया और थानाध्यक्ष को निलंबित कर दिया. 


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रातों-रात चमचमाती स्कॉर्पियो गाड़ी हो गई खटारा
एसपी मनोज कुमार तिवारी ने बताया कि मामला संज्ञान में आने के बाद सदर एसडीपीओ-2 आशीष आनंद को जांच की जिम्मेवारी सौंपी गई थी. एसडीपीओ ने मामले को जांच करते हुए अपनी रिपोर्ट दी. जिसके बाद यह कार्रवाई की गई. इसमें उन्होंने थाने से शराब के साथ पकड़ी गई नई स्कॉर्पियो को पुरानी स्कॉर्पियो से बदले जाने के मामले में दोषी पाया है. इतना ही नहीं साक्ष्य मिटाने की नियत से थाने के सीसीटीवी के साथ भी छेड़छाड़ की गई. 


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22 जुलाई की रात की घटना
जानकारी के मुताबिक, बीते 22 जुलाई की मध्यरात्रि सोनबरसा थाना क्षेत्र में कार्यरत एसटीएफ टीम के प्रभारी एसआई अरविंद कुमार दोहरे और एएसआई सिकंदर यादव ने क्षेत्र के चक्की गांव के समीप देसी और विदेशी शराब लदी एक स्कॉर्पियो एचआर 13 जी 2505 गाड़ी को पकड़ा था. इस दौरान धंधेबाज भाग निकला था. बाद में एसटीएफ टीम ने शराब लदी गाड़ी को देर रात सोनबरसा थाना लाकर थानाध्यक्ष को सुपुर्द कर दिया. शराब लदी गाड़ी आने के बाद थानाध्यक्ष ने अपनी उपस्थिति में शराब की गिनती कराकर उसे गाड़ी से उतरवाया. इसका एसटीएफ के प्रभारी ने अपने मोबाइल से तस्वीर भी ले ली. एसटीएफ द्वारा जब्त नई स्कॉर्पियो सुबह में बदल गई. गाड़ी बदले जाने को लेकर सोनबरसा थानाध्यक्ष और एसटीएफ टीम के सब इंस्पेक्टर आमने-सामने हो गए हैं. 


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जल्दबाजी में गाड़ी की हेराफेरी के मिले कई सुराग
स्कॉर्पियो को बदलने के दौरान नंबर प्लेट की हेराफेरी की गई. इस दौरान जल्दबाजी में कई सुराग छूट गए. पहले वाली गाड़ी से नंबर प्लेट उखारकर बदली गई, गाड़ी में सही तरीके से सेट नहीं कर पाये. किसी कबाड़ खाने से लाकर गाड़ी पर जल्दबाजी में वह नंबर प्लेट लगाने का प्रयास किया गया. इसके कारण नंबर प्लेट सही से नहीं लग सकी. एसटीएफ टीम द्वारा पकड़ी गई स्कॉर्पियो एसएलई मॉडल थी. जबकि, बदली गई स्कॉर्पियो एम हॉक लिखा है. गाड़ी के पीछे शीशे पर लिखे शब्दों का स्थान भी बदला हुआ था. एसडीपीओ ने मामले की जांच के लिए जब सीसीटीवी फुटेज खंगाला तो उसमें छेड़छाड़ पाया गया. शराब जब्त के दिन शाम तक का फुटेज मौजूद था. मगर, शाम के बाद से फुटेज गायब पाया गया.
इनपुट- त्रिपुरारी शरण