Delhi CM Residence: दिल्ली में मुख्यमंत्री आवास को लेकर नया विवाद सामने आया है. आम आदमी पार्टी ने बड़ा आरोप लगाया है कि बीजेपी मुख्यमंत्री आवास पर कब्जा करना चाहती है, इसीलिए सीएम आवास को सील कर दिया गया है. इतना ही नहीं यह भी आरोप लगाए गए कि आतिशी के सामान को बाहर निकलवा दिया गया है और अभी तक उन्हें सीएम आवास नहीं दिया गया है. 


दिल्ली सीएमओ का आया बयान


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उधर इस मामले में दिल्ली सीएमओ की तरफ से बयान भी आया है. सीएमओ ने कहा कि देश के इतिहास में पहली बार मुख्यमंत्री आवास खाली कराया गया है. सीएमओ ने आरोप लगाया कि बीजेपी के इशारे पर एलजी ने जबरन सीएम आतिशी का सामान सीएम आवास से निकाला है. आगे यह भी कहा गया कि एलजी की तरफ से बीजेपी के किसी बड़े नेता को सीएम आवास आवंटित करने की तैयारी चल रही है.


मुख्यमंत्री आतिशी को शिफ्ट होना था


असल में शीशमहल को लेकर ताजा मामला तब सामने आया जब हाल ही में अरविंद केजरीवाल ने सीएम आवास खाली किया था. इसके बाद इस बंगले में मुख्यमंत्री आतिशी को शिफ्ट होना था. लेकिन आतिशी अभी इस बंगले में शिफ्ट नहीं हुई हैं. आम आदमी पार्टी ने सीधे बीजेपी पर आरोप लगाए कि ये लोग मुख्यमंत्री आवास पर कब्जा करना चाह रहे हैं. 


आप का आरोप - कब्जा करना चाह रही बीजेपी


आम आदमी पार्टी की तरफ से कहा गया कि बीजेपी पिछले कई दिनों से झूठ फैला रही है. हमारी पार्टी को तोड़ने के लिए उन्होंने कई हथकंडे अपनाए. वे जब हमसे चुनाव में नहीं जीत पाए तो उन्होंने हमारी पार्टी को खत्म करना चाहा. दिल्ली में बीजेपी पिछले 27 साल से चुनाव हार रही है और वह अपना मुख्यमंत्री नहीं बना पा रही है. अब वे मुख्यमंत्री आवास पर कब्जा करना चाह रहे हैं और उसके लिए तमाम झूठ फैला रहे हैं.


बीजेपी ने किया पलटवार


वहीं इसी बीच आप के आरोपों पर दिल्ली बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा है कि आम आदमी पार्टी से एक बात साफ कर देना चाहता हूं कि शीशमहल सीएम आवास नहीं है. आतिशी जिस बंगले में अभी रह रही हैं, उस बंगले से जब स्वर्गीय मुख्यमंत्री शीला दीक्षित सरकार चला सकती हैं तो आतिशी को क्या दिक्कत है. वहीं, अरविंद केजरीवाल ने जिस आवास को खाली किया, उसकी चाबी पीडब्ल्यूडी को नहीं सौंपी है. 


'कुछ कागजी कार्रवाई की जाती है'


उन्होंने यह भी कहा कि जिन अधिकारियों को वह चाबी सौंप कर गए हैं, वह भी जांच के घेरे में हैं. आतिशी और अरविंद केजरीवाल जानते हैं जब सरकारी आवास खाली किया जाता है तो कुछ कागजी कार्रवाई की जाती है जिसके बाद वह बंगला आगे किसी और को दिया जाता है. वीरेंद्र सचदेवा ने कहा कि आखिर इस शीशमहल में ऐसे कौन से राज हैं, जिसे केजरीवाल नहीं दिखाना चाहते हैं. उन्होंने आगे बंगले को सील करने की मांग की है.