Delhi News: AAP का LG और DDA पर छतरपुर के रिज क्षेत्र में 1,100 पेड़ों की अवैध कटाई आरोप
दिल्ली के मंत्री सौरभ भारद्वाज, आतिशी और इमरान हुसैन ने उस जगह का निरीक्षण किया, जहां सतबरी वन क्षेत्र से सार्क चौक तक सड़क बनाने के लिए सुप्रीम कोर्ट की अनुमति के बिना पेड़ों को काटा गया था.
Fact Finding Committee: केजरीवाल सरकार की तथ्य-खोजी समिति ने मंगलवार को छतरपुर के रिज क्षेत्र में 1,100 पेड़ों की अवैध कटाई का खुलासा किया, जिसके कथित आदेश दिल्ली के उपराज्यपाल (एलजी) ने दिए थे. दिल्ली के मंत्री सौरभ भारद्वाज, आतिशी और इमरान हुसैन ने उस जगह का निरीक्षण किया, जहां सतबरी वन क्षेत्र से सार्क चौक तक सड़क बनाने के लिए सुप्रीम कोर्ट की अनुमति के बिना पेड़ों को काटा गया था.
पेड़ों की जड़ों को हटाकर सबूत नष्ट करन का आरोप
मंत्री सौरभ भारद्वाज ने बताया कि दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) पेड़ों की जड़ों और तनों को हटाकर सबूत नष्ट कर रहा है और सड़क निर्माण के पीछे की मंशा पर सवाल उठाते हुए संभावित भ्रष्टाचार का सुझाव दिया. आतिशी ने कहा कि समिति अपने निष्कर्ष सर्वोच्च न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत करेगी तथा जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग करेगी.
आम आदमी पार्टी की तथ्य-खोज समिति, जिसमें कैबिनेट मंत्री सौरभ भारद्वाज शामिल हैं , दिल्ली के रिज इलाके में पेड़ों की अवैध कटाई की जांच को लेकर आतिशी और इमरान हुसैन गंभीर हैं और उन्होंने मौके का दौरा किया. दौरे के दौरान समिति के सदस्य और कैबिनेट मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि सड़क चौड़ीकरण के नाम पर सैकड़ों पेड़ काटे गए हैं.
'सतबरी' वन क्षेत्र के बीच से सार्क चौक तक बिल्कुल नई सड़क बनाई गई है. पहले इस जगह पर घने जंगल थे. सुप्रीम कोर्ट ने इस इलाके में सभी कामों पर रोक लगा रखी है. इसके बावजूद यहां बुलडोजर से काम चल रहा है. इन जड़ों और तनों को देखकर ही फैसला लिया जाएगा कि कितने पेड़ काटे गए हैं. इसलिए डीडीए इन्हें पूरी तरह से उखाड़कर यहां मिट्टी की परत डालने की साजिश कर रहा है.
सुप्रीम कोर्ट की रोक के बावजूद काम करने का आरोप
सौरभ भारद्वाज ने आगे कहा, सुप्रीम कोर्ट की रोक के बावजूद डीडीए लगातार यहां काम कर रहा है. इस सड़क के एक तरफ बड़े-बड़े करोड़पतियों के फार्महाउस हैं और दूसरी तरफ घना जंगल है. लेकिन सड़क चौड़ी करने के लिए फार्महाउस की जमीन लेने की बजाय रिज क्षेत्र से हजारों पेड़ काट दिए गए. जिस तरह केंद्र की भाजपा सरकार ने गरीब किसानों की जमीन लेकर यहां अमीरों के फार्महाउस बनाए. उसी तरह सड़कें चौड़ी करने के लिए फार्महाउस की जमीन वापस ली जा सकती थी. लेकिन उनके फार्महाउस की जमीन को छुए बिना ही जंगल के 1100 पेड़ काट दिए गए.