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Kailash Gehlot: दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले आम आदमी पार्टी (AAP) को एक बड़ा झटका लगा है.दिल्ली के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने रविवार को पार्टी से इस्तीफा दे दिया. उन्होंने मुख्यमंत्री आतिशी और पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल को एक पत्र लिखकर अपनी स्थिति स्पष्ट की. इस कदम ने पार्टी में हलचल मचा दी है और राजनीतिक गलियारों में चर्चा का विषय बन गया है.
— Kailash Gahlot (@kgahlot) November 17, 2024
इस्तीफे की वजहें
कैलाश गहलोत ने अपने पत्र में कई गंभीर मुद्दों का जिक्र किया है. उन्होंने बताया कि आम आदमी पार्टी गंभीर चुनौतियों का सामना कर रही है. गहलोत का कहना है कि पार्टी की राजनीतिक महत्वाकांक्षा लोगों के प्रति उनकी प्रतिबद्धता से आगे निकल गई है. इससे पार्टी के मूल सिद्धांतों पर सवाल उठने लगे हैं.
Delhi Minister and AAP leader Kailash Gahlot resigned from primary membership of Aam Aadmi Party; writes to party national convenor Arvind Kejriwal.
The letter reads, "There are many embarrassing and awkward controversies like the 'Sheeshmahal', which are now making everyone… https://t.co/NVhTjXl1c2 pic.twitter.com/wVU7dSesBa
— ANI (@ANI) November 17, 2024
यमुना की सफाई का वादा अधूरा
गहलोत ने पत्र में यह भी कहा कि आम आदमी पार्टी ने यमुना नदी को स्वच्छ बनाने का वादा किया था, लेकिन यह वादा पूरा नहीं हो सका. उन्होंने बताया कि नदी पहले से भी अधिक प्रदूषित हो गई है. इस संदर्भ में उन्होंने कहा कि लोग अब यह सोचने पर मजबूर हो गए हैं कि क्या पार्टी अपने मूल लक्ष्यों से भटक गई है.
राजनीतिक एजेंडे पर ध्यान
कैलाश गहलोत ने यह भी कहा कि पार्टी अब अपने राजनीतिक एजेंडे के लिए लड़ रही है, जबकि उन्हें दिल्ली के लोगों के अधिकारों की रक्षा करनी चाहिए. उन्होंने आरोप लगाया कि बुनियादी सेवाएं प्रदान करने में भी पार्टी को कठिनाई हो रही है. यह स्थिति निश्चित रूप से पार्टी के प्रति लोगों के विश्वास को कमजोर कर रही है.
आम आदमी की पहचान पर सवाल
गहलोत ने पत्र में एक और महत्वपूर्ण बिंदु उठाया, जिसमें उन्होंने कहा कि केजरीवाल का नया बंगला जैसे विवादों ने लोगों को यह सोचने पर मजबूर कर दिया है कि क्या आम आदमी पार्टी अब भी आम आदमी की पार्टी है या नहीं. उन्होंने कहा कि यदि दिल्ली सरकार अपना अधिकांश समय केंद्र सरकार के साथ लड़ने में लगाती रहेगी, तो दिल्ली का विकास संभव नहीं हो सकेगा.
पार्टी से अलग होने का निर्णय
कैलाश गहलोत ने स्पष्ट किया कि उन्होंने अपनी राजनीतिक यात्रा की शुरुआत दिल्ली के लोगों की सेवा करने की प्रतिबद्धता के साथ की थी. लेकिन अब उन्हें ऐसा लगता है कि आम आदमी पार्टी से अलग होना ही एकमात्र विकल्प है. उन्होंने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देने का निर्णय लिया है.
भाजपा की प्रतिक्रिया
इस इस्तीफे पर दिल्ली भाजपा के नेताओं ने प्रतिक्रिया दी है. भाजपा ने कहा है कि कैलाश गहलोत का यह कदम भ्रष्टाचार के खिलाफ एक मजबूत संदेश है.उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी और सरकार में रहना अब संभव नहीं है. भाजपा ने यह भी कहा कि दिल्ली की हर विधानसभा में AAP के कार्यकर्ता पार्टी छोड़ रहे हैं, जो पार्टी के लिए एक बड़ा संकेत है.