Delhi News: दिल्ली में पिछले कई साल से दिवाली से पहले "स्वदेशी मेला" का आयोजन किया जाता है. इस दौरान क्षेत्रीय भोजन का आनंद लेते हैं और प्रदर्शन और बिक्री पर अद्वितीय स्वदेशी उत्पादों को खरीदते हैं.
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Delhi News: भारत सरकार संस्कृति मंत्रालय द्वारा हर साल दीपावली से ठीक पहले भारतीय संस्कृति को चित्रित करने और बढ़ावा देने के इरादे से "स्वदेशी मेला" का आयोजन किया जाता है.
मेला अक्टूबर के महीने में "सांस्कृतिक संसाधन और प्रशिक्षण केंद्र (सीसीआरटी) मैदान, द्वारका, सेक्टर -7 में होता है. स्वदेशी मेला वर्ष 2014 में द्वारका में शुरू हुआ. इस दौरान मेले में द्वारका और द्वारका के आसपास के इलाकों से लोग यहां आते हैं और समय बिताते हैं. वहीं इस मेले का साल दर साल फुट फॉल बढ़ रहा है. सभी आयु वर्ग के लगभग लाखों लोग यहां आते हैं और क्षेत्रीय भोजन का आनंद लेते हैं और प्रदर्शन और बिक्री पर अद्वितीय स्वदेशी उत्पादों को खरीदते हैं.
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मेला अवधि के दौरान सभी आयु वर्ग के लिए कई गतिविधियां होती हैं जैसे मंच के बाहर की गतिविधियां, खेल, झूले, दुकानें, सांस्कृतिक गतिविधियां आदि. "स्वदेशी मेला" कारीगरों को खरीदारों के साथ सीधे बातचीत करने के लिए मंच प्रदान कर रहा है और उन्हें इस इरादे से बढ़ावा दे रहा है कि वे रोजगार पैदा करने वाले बनें न कि रोजगार चाहने वाले.
मेले का आयोजन स्वदेशी की अवधारणा को बढ़ावा देने के इरादे से किया जाता है, जिसका उद्देश्य स्वदेशी उत्पाद निर्माताओं, हस्तशिल्प, स्वास्थ्य जागरूकता और कारीगरों द्वारा विभिन्न अद्वितीय उत्पादों को बढ़ावा देना है.
वहीं फरीदबाद में भी सीएम मनोहर लाल की घोषणा के बाद साल में दो बार सूरजकुंड मेले का आयोजन करने की तैयारी हरियाणा टूरिजम ने शुरू कर दी है. आयोजन दिवाली मेले के रूप में 3 से 10 नवंबर तक होगा. इस बार स्वदेशी वस्तुओं को ज्यादा बढ़ावा दिया जाएगा. हरियाणा टूरिजम ने क्राफ्ट स्टॉल, फूड स्टॉल और चौपाल पर होने वाले कार्यक्रमों की लिस्ट फाइनल करनी शुरू कर दी है. केवल 250 स्टॉल ही स्वदेशी वस्तुओं की बिक्री करने वालों को अलॉट किए जाएंगे.
Input: Charan Singh