Haryana Government: हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल की अध्यक्षता में राज्य की लगभग 131 करोड़ रुपये से अधिक की 8 विकास परियोजनाओं को स्वीकृति प्रदान की गई. इनमें लोक निर्माण विभाग व जनस्वास्थ्य विभाग की 2-2 तथा 3 फरीदाबाद मेट्रोपोलियन विकास अथॉरिटी की परियोजनाएं शामिल है.  मुख्यमंत्री चंडीगढ़ में 10 करोड़ रुपये से अधिक की विकास परियोजनाओं की स्वीकृति बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे.


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इसी के साथ उन्होंने जींद जिले के दालमवाला गांव में नहर आधारित जल परियोजना की स्वीकृति प्रदान की. लगभग 13 करोड़ रुपये से अधिक की इस पेयजल परियोजना से बेहतवाला, खोकरी, हैबतपुर, माण्डो गांव सहित 5 गांवों की आबादी को निर्बाध रूप से पेयजल सुलभ होगा ओर इसे हांसी ब्रांच से पानी की आपूर्ति की जा सकेगी.


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मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने टीबी मुक्त भारत अभियान निक्षय स्कीम के लाभार्थियों से संवाद करते हुए कहा कि टीबी एक लाइलाज बीमारी नहीं, अगर इसका नियमित रूप से उपचार किया जाए. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2018 से 2025 तक टीबी मुक्त बनाने का संकल्प लिया. प्रधानमंत्री द्वारा तय किए गए इस लक्ष्य के अनुसार हरियाणा को भी 2025 तक टीबी मुक्त करने का हमारा लक्ष्य है. हरियाणा सरकार की तरफ से सभी टीबी रोगियों को विश्वास दिलाता हूं कि किसी प्रकार के पोषण और उपचार संबंधी कोई दिक्कत नहीं आने दी जाएगी


इसी के साथ मनोहर लाल ने महामहिम राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू का आभार जताते हुए कहा कि टीबी के रोगियों के पोषण के लिए सितंबर 2022 में योजना का शुभारंभ किया. हरियाणा में इस योजना का 15 सितंबर, 2022 को महामहिम राज्यपाल के हाथों से शुरू किया गया था. इसी के साथ उन्होंने टीबी मुक्त बनाने में सहयोग करने वाली सभी संस्थाओं का धन्यवाद किया. टीबी के रोगियों की मदद के लिए इच्छुक संस्थाएं कंपनी या वालंटियर पोर्टल के जरिए स्वयं को रजिस्टर करवा सकती है.


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अभी तक इस पोर्टल पर 1500 के करीब निक्षय मित्र


हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने अपने संबोधन में आगे कहा कि टीबी उपचार की सेवाओं का विस्तार करने के लिए 7 मार्च को मेदांता अस्पताल में एक मीटिंग रखी गई थी. कई निजी कंपनियों ने भी इस कार्य में सरकार का सहयोग दिया था. पानीपत रिफायनरी ने 2 CBNAAT मशीन देकर प्रशंसनीय कार्य किया था.


इसी के साथ विभिन्न कॉर्पोरेट कंपनियों ने 13 जिलों को टीबी मुक्त बनाने के लिए गोद लिया था. उन्होंने आगे कहा कि सभी टीबी रोगियों से अनुरोध है कि सरकारी स्वास्थ्य संस्थाओं में उपलब्ध टीबी की उपचार सेवाओं का भरपूर लाभ उठाकर टीबी के बारे में जागरूकता फैलाएं


(इनपुटः ऋषभ गोयल)