Palwal News: हरियाणा में भाजपा और जेजेपी के गठबंधन की सरकार है, जैसे-जैसे चुनाव नजदीक आता जा रहा है वैसे-वैसे ही दोनों पार्टियों के नेता गठबंधन की सरकार के खिलाफ मोर्चा खोलते भी नजर आ रहे हैं. अपनी राजनीतिक शाख बचाने के लिए कोई आंदोलनों के समर्थन करता नजर आता है तो किसी के बगावती सुर नजर आते है. पूर्व में मंत्री रहे और वर्तमान में जेजेपी के राष्ट्रीय सचिव हर्ष कुमार ने भी गठबंधन की इस सरकार के सामने अपनी मांगों को रखा है.


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सरपंचों के साथ मिलकर प्रेस वार्ता करते हुए हर्ष कुमार ने कहा कि   जिस तरह  नगर निगम, नगर परिषद, नगर पालिका से प्राप्त की हुई पूरी राशि उन्हीं के खातों में जाती है. इस तरह गांवों से एचडीएआरएफ फंड में जाने वाले पैसे को 75 प्रतिशत उसी पंचायत के खातों में भेजा जाए, ताकि वो गांवों के विकास में लग सके.


उन्होंने कहा की डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला ने एचडीआरएफ में जो सरपंचों को 50 प्रतिशत का हिस्सा दिया है. उसको सरकार को 75 परसेंट करने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि चुने हुए सरपंचों को अपने अधिकारों के लिए एकजुट होकर संघर्ष करना होगा ताकि जनप्रतिनिधि होने के नाते वह अपनी जिम्मेवारियों का निर्वहन कर गांवों का विकाश कर सकें.


उन्होंने कहा की आज सरपंच अपनी मांगों और ग्रांटों के लिए विधायक और मंत्रियों के सामने भीख सी मांगते नजर आते हैं. उसके बाद भी उनके काम नहीं होते, जिसके चलते सरपंच और जनता अपने आप को ठगा सा महसूस कर रही है. उन्होंने कहा कि प्रदेश में एचडीएआरएफ में जो पैसा जाता है. वह सब किसानों का पैसा जाता है. अगर एवरेज की बात की जाए तो एक एकड़ से करीब 1500-1600 रुपये एचडीएआरएफ के फंड में सीधा किसानों का पैसा जाता है. 


गांव के चुने हुए प्रतिनिधि सरपंच और पंच एमएलए मंत्रियों के पीछे अपने ही पैसों के लिए भीख सी मांगते फिरते हैं तो हमारी मांग है कि सरकार के पास प्रत्येक गांव का रिकॉर्ड है कि किस गांव से कितना पैसा एचडीएआरएफ के फंड में आया उसका 75 प्रतिशत हिस्सा सीधा उसी गांव की पंचायत के फंड में भेजा जाए.


Input: Rushtam Jakhar