Ram Mandir: प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के लिए अयोध्या में की गई हैं कौन-कौन सी तैयारियां?
Ram Mandir: इसे देखते हुए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) शासित राज्यों और ओडिशा ने एक दिन के अवकाश की घोषणा की है, जबकि केंद्र सरकार ने आधे दिन की छुट्टी का एलान किया है. भगवान राम की जन्मस्थली अयोध्या में प्राधिकारी तैयारियों को अंतिम रूप दे रहे हैं.
Ram Mandir Inauguration: राम भक्तों को वर्षों से जिस पल का इंतजार था, उसके लिए अयोध्या पूरी तरह से तैयार है. भव्य स्तर पर बहु-प्रतीक्षित राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह का आयोजन सोमवार को होगा, जिसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी सभी धार्मिक अनुष्ठानों में शामिल होंगे. इस समारोह के अगले दिन ही यह मंदिर जनता के लिए खोल दिया जाएगा. ‘प्राण प्रतिष्ठा’ समारोह अपराह्न 12.20 बजे शुरू होगा और अपराह्न एक बजे तक उसके पूरा होने की संभावना है. इसके बाद प्रधानमंत्री आयोजनस्थल पर संतों और प्रतिष्ठित शख्सियतों समेत 7,000 से अधिक लोगों की सभा को संबोधित करेंगे. लाखों लोगों के इस कार्यक्रम को टेलीविजन और ऑनलाइन मंचों पर सीधा प्रसारण देखने की उम्मीद है.
इसे देखते हुए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) शासित राज्यों और ओडिशा ने एक दिन के अवकाश की घोषणा की है, जबकि केंद्र सरकार ने आधे दिन की छुट्टी का एलान किया है. भगवान राम की जन्मस्थली अयोध्या में प्राधिकारी तैयारियों को अंतिम रूप दे रहे हैं. इसके साथ ही देश और विदेश में इस अवसर पर विशेष उत्सव की घोषणा की गई है. वाशिंगटन डीसी से लेकर पेरिस और सिडनी तक दुनिया के विभिन्न हिस्सों में 22 जनवरी को कार्यक्रमों की घोषणा की गई है. ये कार्यक्रम 60 देशों में विश्व हिंदू परिषद (विहिप) या हिंदू प्रवासी समुदाय द्वारा आयोजित किए जा रहे हैं. प्राण प्रतिष्ठा समारोह के मद्देनजर अनुष्ठान 16 जनवरी को शुरू हुए थे और मंदिर न्यास के महासचिव चंपत राय के अनुसार ये अनुष्ठान 21 जनवरी को संपन्न होंगे.
श्रद्धालुओं को मुख्य मंदिर तक पहुंचने के लिए पूर्वी दिशा से 32 सीढ़ियां चढ़नी होंगी. पारंपरिक नागर शैली में बना मंदिर परिसर 380 फुट लंबा (पूर्व-पश्चिम दिशा), 250 फुट चौड़ा और 161 फुट ऊंचा होगा. मंदिर की प्रत्येक मंजिल 20 फुट ऊंची होगी और उसमें कुल 392 स्तंभ और 44 द्वार होंगे. सरकार इस विशेष दिन के लिए कोई कोर कसर नहीं छोड़ रही है और शहर के चप्पे-चप्पे पर पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है. मंदिर नगरी के प्रत्येक मुख्य चौराहे पर कंटीले तारों वाले अवरोध लगाए गए हैं. भूकंप और बाढ़ जैसी घटनाओं के साथ ही रसायनिक, जैविक, रेडियोधर्मी और परमाणु हमलों से निपटने के लिए प्रशिक्षित राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) दलों को भी तैनात किया गया है.
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प्रशासन ने ठंड के प्रकोप के मद्देनजर किसी भी स्वास्थ्य आपात स्थिति से निपटने के लिए तैयारियां की है. अयोध्या और जिला अस्पतालों और यहां के मेडिकल कॉलेज में बिस्तरों को आरक्षित रखा गया है. अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के विशेषज्ञों ने स्वास्थ्य देखभाल संस्थानों में डॉक्टरों को आपात स्थिति से निपटने का प्रशिक्षण दिया है. भव्य राम मंदिर को फूलों और विशेष रोशनी से सजाया गया है और पूरा शहर धार्मिंक रंग में रंगा हुआ है.