नई दिल्ली: नई दिल्ली: संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) की सिविल सर्विस एग्जाम (Civil Service Exam) को सबसे कठीन परीक्षाओं में से एक माना जाता है और कुछ छात्रों को इसे पास करने के लिए कई सालों तक मेहनत करनी पड़ती है. ऐसी ही कुछ कहानी केरल के कोझीकोड जिले के रहने वाले मिथुन प्रेमराज (Mithun Premraj) की है, जिन्होंने डॉक्टरी के बाद यूपीएससी एग्जाम देने का फैसला किया, लेकिन उन्हें पांचवें प्रयास में सफलता मिली और आईएएस अफसर (IAS Officer) बनने का सपना पूरा किया.


12वीं के बाद पूरी की मेडिकल की पढ़ाई


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मिथुन प्रेमराज (Mithun Premraj) शुरू से ही पढ़ाई में अच्छे थे और सीबीएसई से 12वीं करने के बाद उन्होंने पुडुचेरी स्थित जवाहर इंस्टीट्यूट ऑफ पोस्ट ग्रेजुएट मेडिकल एजुकेशन एंड रिसर्च (JIPMER) से मेडिकल की पढ़ाई पूरी की. इसके बाद उन्होंने भारतीय सार्वजनिक स्वास्थ्य संस्थान, नई दिल्ली से सार्वजनिक स्वास्थ्य में डिप्लोमा प्राप्त किया.


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डॉक्टर परिवार से ताल्लुक रखते हैं मिथुन


केरल के कोझीकोड जिले के वताकारा के रहने वाले मिथुन प्रेमराज (Mithun Premraj) डॉक्टर के परिवार से ताल्लुक रखते हैं और उसके पिता डॉ प्रेमराज एक जाने-माने बाल रोग विशेषज्ञ हैं. मिथुन की बहन अश्वथी मुक्कम के केएमसीटी मेडिकल कॉलेज में रेडियोलॉजी विभाग में एक सीनियर रेजिडेंट डॉक्टर हैं. यहीं वजह है कि मिथुन ने भी 12वीं के बाद मेडिकल फील्ड में जाने का फैसला किया.


डॉक्टरी छोड़ शुरू की यूपीएससी की तैयारी


न्यू इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, मिथुन प्रेमराज (Mithun Premraj) ने बताया, 'मैंने मेडिकल की पढ़ाई साल 2015 में पूरी कर ली थी, लेकिन मेरा सपना एक आईएएस अफसर (IAS Officer) बनने का था. इसके बाद मैंने इसके लिए तैयारी शुरू की और परिवार ने भी मेरा साथ दिया.'



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यूपीएससी एग्जाम में 4 बार हुए फेल


मिथुन प्रेमराज (Mithun Premraj) के लिए यूपीएससी एग्जाम (UPSC Exam) इतना आसान नहीं था और एक साल की तैयारी के बाद साल 2016 में पहली बार एग्जाम दिया, लेकिन वह असफल हो गए. इतना ही नहीं उन्हें लगातार चार बार असफलता का सामना करना पड़ा, जिसमें से 3 बार इंटरव्यू तक पहुंचे थे. लगातार चार बार फेल होने के बाद भी मिथुन ने हार नहीं मानी और पांचवीं बार एग्जाम देने का फैसला किया.


पांचवें प्रयास में मिली सफलता


यूपीएससी एग्जाम (UPSC Exam) में लगातार चार बार फेल होने के बाद आखिरकार मिथुन प्रेमराज (Mithun Premraj) की सालों की मेहनत सफल हुई और पांचवें प्रयास में सफलता हाथ लगी. साल 2020 में मिथुन ने यूपीएससी एग्जाम पास की और ऑल इंडिया में 12वीं रैंक लाकर आईएएस अफसर बने.


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कोविड वार्ड में भी किया है काम


30 साल के डॉक्टर मिथुन प्रेमराज (Dr. Mithun Premraj) ने कोझीकोड निगम में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) और वडकारा के जिला अस्पताल में काम किया है. सिविल सर्विस एग्जाम (Civil Service Exam) के इंटरव्यू की तैयारी से पहले साल 2020 में उन्होंने जिला अस्पताल के कोविड वार्ड में भी काम किया था.


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