ISI की साजिश, LoC से सटे लांचिंग पैड पर हो रहा है आतंकियों का जमावड़ा, पुंछ में घुसपैठ की कोशिश नाकाम
Jammu Kashmir: गृह मंत्रालय के मुताबिक जब से पाकिस्तान FATF की ग्रे लिस्ट से बाहर निकला है तब से पीओके में टेरर कैंप की संख्या में इजाफा हुआ है. जानकारी के मुताबिक इस वक्त पाकिस्तान और पीओके में 300 टेरर कैंप सक्रिय हैं.
India-Pak Border: खुफिया एजेंसियों के सूत्रों के मुताबिक पाक अधिकृत कश्मीर (PoK) में स्थित टेरर कैंपों से आतंकियों के कई ग्रुप की लाइन आफ कंट्रोल (एलओसी) की तरफ मूवमेंट किए जाने की जानकारी मिली है. जानकारी के मुताबिक जम्मू कश्मीर में सर्दियों से पहले पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई बड़ी संख्या में आतंकियों को भारतीय सीमा में दाखिल कराने की साजिश में लग गई है. गुरुवार के दिन भी पुंछ में एलओसी पर ऐसे ही घुसपैठ की साजिश कर रहे आतंकियों की कोशिश को भारतीय सेना ने नाकाम कर दिया था. सेना के ऑपरेशन में तीन आतंकी मारे गये थे.
गृह मंत्रालय के मुताबिक जब से पाकिस्तान Financial Action Task Force (FATF) की ग्रे लिस्ट से बाहर निकला है तब से पीओके में टेरर कैंप की संख्या में बड़ा इजाफा हुआ है. जानकारी के मुताबिक इस वक्त पाकिस्तान और पीओके में 300 टेरर कैंप सक्रिय हैं. FATF की कारवाई से पहले कुल 600 टेरर कैंप के बारे में खुफिया जानकारी मिली थी.
इन इलाकों में आतंकी मूवमेंट सबसे ज्यादा
सूत्रों के मुताबिक सबसे ज्यादा आतंकियों की मूवमेंट की जानकारी पुंछ से सटे बलनवाली ढोक, बरोह खोरी, बत्ता हलन, जबरी ढोक और कोपरा में मिली है. वहीं कृष्णा घाटी से सटे दारुचिन, गोई,नत्तर, डेरा शेर खान और सतवल टाप, भिंबर गली से सटे तरकुंडी, लनजोत,खाड तेलियान और निकीयाल लॉन्चिंग पैड और नौशेरा से सटे लॉन्चिंग पैड पर समाहनी, बगसर और चौक समानी में आतंकियों की मूवमेंट को देखा गया है. भारतीय खुफिया एजेंसियों को एलओसी से सटे इलाकों में कुल 15 लांचिंग पैड होने की जानकारी मिली है.
खुफिया एजेंसियों की एक रिपोर्ट के मुताबिक जम्मू -कश्मीर में इस वक्त कुल 134 आतंकी सक्रिय हैं जिनमें से 83 पाकिस्तानी आतंकी है जबकि 51 लोकल आतंकी हैं. जम्मू कश्मीर में बड़ी संख्या में पाकिस्तानी आतंकियों की मौजूदगी एक चिंता का विषय है.
इस साल 176 आतंकी मारे गए
इस साल घाटी में अब तक 176 आतंकियों को सेना और सुरक्षा बल मुठभेड़ में मार चुके हैं. जिन आतंकियों को अब तक मारा गया हैं उनमें 50 पाकिस्तानी आतंकी और 126 लोकल आतंकी है.
खुफिया एजेंसियों की एक रिपोर्ट से खुलासा हुआ है कि पाक अधिकृत कश्मीर यानि पीओके में स्थित कैंपों में आतंकियों की संख्या में इजाफा हुआ है. ज़ी मीडिया को मिली एक्सक्लूसिव जानकारीके मुताबिक पीओके के कुछ टेरर कैंपों को लाइन ऑफ कंट्रोल (LoC) के नजदीक शिफ्ट किए जाने की खुफिया जानकारी मिली है.
मल्टी एजेंसी सेंटर (MAC) की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक लाइन आफ कंट्रोल से सटे लांचिंग पैड पर 150 के करीब आतंकियों के होने की जानकारी मिली है जो सीमा पार कर भारतीय सीमा में घुसने की फिराक में हैं.
आतंकियों की घुसपैठ की कोशिश
एलओसी पर बर्फबारी से पहले सीमा पार से आतंकियों को घुसपैठ कराने की लगातार कोशिश हो रही है. सीमा पर सख्त निगरानी के चलते आतंकी संगठन जैश, लश्कर और हिजबुल जैसे ग्रुप अपनी रणनीतियों में लगातार बदलाव कर रहे हैं.
केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों को शक है कि लाइन आफ कंट्रोल और पाकिस्तान से सटे इंटरनेशनल बॉर्डर पर आतंकियों को भारतीय सीमा में घुसपैठ करने के लिए आतंकी टनल का भी इस्तेमाल कर रहे हैं. कुछ महीनों पहले भी बार्डर सिक्योरिटी फोर्स (BSF) ने जम्मू से सीमा पर ऐसे ही एक टनल का पता लगाया था.
ड्रोन के जरिए हथियार-गोला बारूद की सप्लाई
जम्मू कश्मीर में मौजूद आतंकियों को ड्रोन के जरिए हथियार और गोला बारूद की सप्लाई की जा रही है. गृह मंत्रालय को भेजी सुरक्षा एजेंसियों की एक रिपोर्ट से ये खुलासा हुआ है कि पिछले साल के मुकाबले पाकिस्तान से सटी भारतीय सीमा में ड्रोन्स एक्टिविटी दोगुनी हो गई है. पिछले साल यानी साल 2021 में जहां 109 ड्रोन की गतिविधियों को देखा गया था. वहीं इस साल सितंबर तक ये संख्या बढ़कर 214 हो गई है. बीएसएफ ने इस साल पंजाब से सटे पाकिस्तान बॉर्डर पर सीमा पार से भारत में घुसपैठ कर रहे 11 ड्रोन को मार गिराया है.
पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी जम्मू कश्मीर में लगातार स्थितियां सामान्य होने से भी बौखलाई हुई है. पिछले दिनों गृह मंत्री अमित शाह के जम्मू कश्मीर दौरे के दौरान बड़ी संख्या में लोग अपने घरों से निकल कर गृह मंत्री की रैली में शामिल हुए. बारामुला में पिछले 35 सालों में किसी केंद्रीय मंत्री की रैली हुई और रैली में लग रहे ‘भारत माता’ के नारे ने पाकिस्तान को बेचैन कर दिया है.
जम्मू कश्मीर में अल्पसंख्यकों पर हो रहे हमले ये बताते हैं कि पाकिस्तान कश्मीर में अमन चैन की हर कोशिश को नाकाम करने में लगा हुआ है. जम्मू कश्मीर में इस लाल अब तक रिकार्ड 1.62 करोड़ पर्यटकों ने जम्मू कश्मीर की यात्रा की है.
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