सीएम शिवराज ने की केन्द्रीय वित्त मंत्री से मुलाकात, लोन देने के नियम में मांगी छूट, स्ट्रीट वेंडर्स को होगा बड़ा फायदा
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मुलाकात की. पढ़िए इस दौरान क्या-क्या बात हुई.
भोपाल: मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शुक्रवार को केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मुलाकात की है. इस दौरान शिवराज सिंह ने पीएम स्वनिधि योजना (PM Svanidhi scheme) में निजी बैंकों द्वारा लोन के मामलों को कथित तौर पर रोके जाने के संबंध में चर्चा की. इस दौरान उन्होंने आग्रह किया है कि पीएम स्वनिधि योजना का प्रभावी क्रियान्वयन हो, इसके लिए बैंकों को जरूरी निर्देश दिए जाएं. मुलाकात के बाद शिवराज सिंह ने कहा कि मध्य प्रदेश केन्द्र सरकार की योजनाओं में बेहतर परफार्म करने वाला राज्य है. पीएम स्वनिधि योजना में हम अग्रणी हैं.
इस मामले को लेकर की मुलाकात
शिवराज सिंह ने बताया कि 'पीएम स्वनिधि योजना में बैंक CIBIL रेटिंग मांगते हैं, जो गरीबों के पास नहीं होती. इस संबंध में मैने वित्तमंत्री से आग्रह किया है कि CIBIL रेटिंग, स्ट्रीट वेंडर्स के लिए नहीं होनी चाहिए. इस पर केंद्रीय वित्तमंत्री ने सहमति जताई है और इस मामले में बैंकों से बात करने का भरोसा भी दिया है.'
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मु्ख्यमंत्री ग्रामीण पथ विक्रेता योजना की जानकारी दी
शिवराज सिंह ने बताया कि मध्य प्रदेश में हमने 'मु्ख्यमंत्री ग्रामीण पथ विक्रेता योजना' बनाई है, इससे ग्रामीण क्षेत्रों के पथ विक्रेताओं की जिंदगी भी पटरी पर लौटेगी. इसके लिए 10,000 रुपए तक का लोन बिना ब्याज के दे रहे हैं. इस योजना में भी केंद्र से सहयोग मांगा गया है, जिस पर वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने सहमति भी दी है.
शिवराज सिंह ने किया ये आग्रह
शिवराज सिंह ने बताया कि मैने आग्रह किया कि 'जिन राज्यों का फाइनेंशियल मैनेजमेंट ठीक है, उनको एक परसेंट पर अतिरिक्त लोन लेने की अनुमति मिल जाए तो संकट के समय न तो विकास के काम रुकेंगे, न ही जनकल्याण की योजनाएं. वित्त मंत्री ने इस पर विचार करने की बात कही है.'
आत्मनिर्भर भारत पर बोले शिवराज
शिवराज सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आत्मनिर्भर भारत के तहत कहा है कि कुछ सुधार अगर राज्य करेंगे तो उनको तय सीमा से अतिरिक्त कर्ज मिलेगा. अभी जीडीपी का 3 प्रतिशत ऋण राज्य ले सकता है, लेकिन जो 4 सुधार प्रधानमंत्री ने बताए थे, उनके अनुसार हर एक सुधार पर (.25) परसेंट जीडीपी के बराबर लोन लेने का अधिकार राज्य को मिलेगा. इसके लिए हमने 3 सुधार पूरे कर लिए हैं. जिसके बदले हमें (.75) परसेंट अतिरिक्त कर्ज लेने की अनुमति केन्द्र सरकार ने दी है. हमारा केवल एक सुधार बचा है, उस पर भी हम तेजी से काम कर रहे हैं, जैसे ही ये सुधार होगा तो हमें (.25% ) और अतिरिक्त कर्ज लेने की स्वीकृति मिलेगी.
330 करोड़ रुपए रिलीज करने का आग्रह
शिवराज सिंह ने बताया कि इंफ्रास्ट्रक्चर के ऐसे बड़े काम जो 31 मार्च 2021 तक पूरे किए जा सकते हैं, उसके परफॉर्मेंस के आधार पर केंद्र सरकार ने जो राशि तय की थी, उसमें मध्यप्रदेश को 1600 में से 660 करोड़ रुपए स्वीकृत हुए थे. इस राशि से 330 करोड़ रुपए हमको मिल गए थे, बाकि बचे हुए 330 करोड़ रुपए रिलीज करने का मैने आग्रह किया है.
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