मध्य प्रदेश विधानसभा की कार्रवाई कल तक के लिए स्थगित कर दी गई है. वहीं आज की कार्रवाई दौरान सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच जमकर तकरार देखने को मिली. जबकि पोषण आहार के मामले पर सीएम शिवराज ने भी बड़ा बयान दिया है.
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आकाश द्विवेदी/भोपाल। मध्यप्रदेश विधानसभा के मानसून सत्र के दूसरे दिन की कार्यवाही की दौरान सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच जमकर हंगामा हुआ. पोषण आहार के मुद्दे पर सत्ता पक्ष और विपक्ष के नेताओं के बीच तीखी नोकझोंक हुई. कार्रवाई के बाद सीएम शिवराज ने पूरे मामले पर बड़ा बयान दिया. सीएम ने कहा पोषण आहार मामले पर कांग्रेस ने भ्रम फैलाने की कोशिश की है. सरकार ने फैसला किया है कि व्यक्तव्य के माध्यम से सदन और जनता के सामने पूरे मामले की स्थिति स्पष्ट की जाए. व्यवतव्य देना सरकार का अधिकार है. इस अधिकार का अनेकों बार इस्तेमाल हुआ है. लेकिन कांग्रेस को चर्चा से भागना था, क्योंकि कांग्रेस का तथ्यों से कोई मतलब नहीं है. विधानसभा की कार्रवाई कल तक के लिए स्थगित कर दी गई है.
कांग्रेस ने भ्रम फैलाने की कोशिश की
सीएम शिवराज ने कहा कि पोषण आहार मामले में कांग्रेस ने भ्रम फैलाने की कोशिश की, सरकार ने फैसला किया कि एक वक्तव्य के माध्यम से सारी स्थिति सदन को और सदन के माध्यम से जनता को स्पष्ट की जाये, सदन में वक्तव्य देना सरकार का अधिकार है और इस अधिकार का अनेक बार उपयोग हुआ है, मुझे यह समझ में नहीं आता है कि यदि सरकार वक्तव्य के माध्यम से तथ्यों को रखना चाहती थी, तो प्रतिपक्ष को दिक्कत क्या थी?.
कांग्रेस ने हंगामा किया
सीएम शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि जब सरकार की तरफ से पोषण आहार के मामले पर सदन में जानकारी दी जा रही थी, लेकिन कांग्रेस ने व्यक्तव्य के दौरान हंगामा किया, विधानसभा अध्यक्ष ने व्यवतव्य की अनुमति दी थी, हमने कहा था हर एक प्रश्न का उत्तर दिया जाएगा, लेकिन कांग्रेस ने उसे सुना ही नहीं. मध्यप्रदेश में सरकार के प्रयासों से कुपोषण कम हो रहा है, लेकिन आज कांग्रेस इन सब बातों को सुनना नहीं चाहती थी. मैंने अपने वक्तव्य में सारी बातें विस्तार से कहीं हैं. लेकिन कांग्रेस चर्चा से भागी. कांग्रेस को केवल हंगामा खड़ा करना था. वक्तव्य में जो बातें आती वो सुनना नहीं चाहते थे, हमारे यह कहने के बावजूद कि वक्तव्य के बाद हम नेता प्रतिपक्ष को सुनेंगे, कोई अन्य सदस्य बोलना चाहे तो वो भी बोले लेकिन उन्होंने सिर्फ हंगामा किया. हम सारी सच्चाई जनता के बीच में, जनता की अदालत में ले जाएंगे.
कांग्रेस के शासन काल भी जांच होगी
मुख्यमंत्री ने कहा कि ''कांग्रेस के समय में टेक होम राशन का परिवहन स्कूटर, बाइक और कार से हुआ है, नंबर सहित मेरे पास है, हम इसकी भी जांच कर रहे हैं, टेक होम राशन अमानक स्तर का पाया गया था, वो कांग्रेस के शासन काल का है, जिसका हमने 36 करोड़ रुपया रोका हुआ है. सभी तथ्यों की हम बारीकी से जांच कर रहे हैं, उसके आधार पर अंतिम कार्रवाई होगी. इसके पहले हमने 2018 में तय किया था कि पोषण आहार की व्यवस्था को महिला स्वसहायता समूहों के महासंघों को देने तथा 7 पोषण आहार संयंत्र बनाने का हमने फैसला किया, वो पोषण आहार संयंत्र बन भी गये. बीच में भाजपा की सरकार चली गई और तब कौन थे, जिन्होंने इन पोषण आहार संयंत्रों को 'एमपी एग्रो' के नाम पर ठेकेदारों को सौंपने का षड्यंत्र किया? हमारी सरकार आई, तो हमने पोषण आहार तैयार करने का काम स्वसहायता समूहों को फिर दे दिया.
सख्त कार्रवाई होगी: सीएम शिवराज
महालेखाकार ने 2018 से 2021 के बीच महिला बाल विकास के कुछ कार्यों का ऑडिट किया, इसकी ड्राफ्ट रिपोर्ट है, इसको अंतिम नहीं माना जा रहा है. ऑडिट की प्रक्रिया को कांग्रेस के मित्र भी जानते होंगे. सभी विभागों में ऑडिट की टीमें आती हैं और ऑब्जर्वेशन रिपोर्ट को ड्राफ्ट के रूप में विभाग के पास भेजती है, फिर विभाग से अपना पक्ष रखने की बात कही जाती है. अभी ड्राफ्ट रिपोर्ट आई है, विभाग जवाब दे रहा है. उसके बाद कैग को रिपोर्ट जायेगी, फिर विधानसभा में चर्चा होगी. हम तथ्यों को बारीकी से देख रहे हैं. कहीं गड़बड़ी पाई गई, तो हम सख्त कार्रवाई करेंगे.