भोपालः मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ के करीबियों के घर और आधिकारिक परिसरों पर चली 2 दिन की छापेमारी में सेंट्रल बोर्ड ऑफ डायरेक्ट टैक्सेस ने जहां आयकर विभाग की छापेमारी में करीब 281 करोड़ रुपये के बेहिसाब नकदी के रैकेट का पता लगाने, 14.6 करोड़ रुपये की “बेहिसाबी” नकदी बरामद करने और मध्य प्रदेश तथा दिल्ली के बीच हुए संदिग्ध भुगतान से जुड़ी डायरी तथा कंप्यूटर फाइलें अपने कब्जे में ली हैं, तो वहीं OSD प्रवीण कक्कड़ का कहना है कि 2 दिनों तक चली इस छापेमारी में आयकर विभाग के अधिकारों को ऐसा कुछ नहीं मिला है, जिसे वह जब्त कर सकें या उन्हें संदिग्ध लगे. इस पूरी कार्रवाई पर सवाल उठाते हुए प्रवीण कक्कड़ ने आयकर विभाग के छापे की जगह राजनीतिक ऑपरेशन बताया है. 


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मप्र में आयकर की छापेमारी में 281 करोड़ के कैश रैकेट का पर्दाफाश, 14.6 करोड़ नकद बरामद


मुख्यमंत्री कमलनाथ के करीबी कहे जाने वाले और उनके OSD प्रवीण कक्कड़ ने आयकर विभाग की छापेमारी पर बात करते हुए कहा है कि '2 दिन की लंबी छापेमारी के बावजूद उन्हें ऐसा कोई दस्तावेज नहीं मिला, जिसे वे जब्त कर सकें, अधिकारियों को कोई नकदी या आभूषण भी नहीं मिला. उन्हें कुछ भी आपत्तिजनक नहीं लगा, यह एक राजनीतिक ऑपरेशन था.' उन्होंने आरोप लगाया है कि यह आयकर विभाग का छापा नहीं बल्कि भारतीय जनता पार्टी का राजनीतिक ऑपरेशन था.



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बता दें आयकर विभाग की एक टीम ने CM कमलनाथ के निजी सचिव प्रवीण कक्कड़ के साथ ही उनके करीबी प्रतीक जोशी और अश्विन शर्मा के घरों और ऑफिस के साथ ही अलग-अलग जगहों पर छापेमारी की थी. जहां आयकर विभाग के अधिकारियों को छापे के दौरान 14.6 करोड़ की नकदी, 252 शराब की बोतलें, कुछ हथियार और कुछ बाघ की खालें भी मिली थीं. छापेमारी के बारे में सीबीडीटी ने बताया था कि दिल्ली में टीम को एक कैशबुक भी मिली है, जिसमें 230 करोड़ के लगभग की बेनामी लेनदेन का ब्यौरा है. इसके अलावा दिल्ली में हुई छापेमारी में कैश रैकेट से जुड़े कई सबूत हाथ लगे हैं.