इरशाद हिंदुस्तानी/बैतूल: मध्य प्रदेश के बैतूल के चिचोली में शनिवार को 6 वर्षीय बालक अचानक मौत हो गई. उसकी तबीयत खराब थी. घरवाले उसे झोला छाप डॉक्टर के पास लेकर आए थे. डॉक्टर के इंजेक्शन लगाते ही बालक की मौत हो गयी. इससे परिजनों में नाराजगी है. जबकि पुलिस मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है. स्वास्थ्य विभाग ने झोलाछाप डॉक्टर की क्लीनिक कुछ महीने पहले ही सील की थी.


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मृतक बालक सचिन पिता सुनील मर्सकोले गांव दूधिया का रहने वाला था. उसे दो-तीन दिन से बुखार आ रहा था. जिससे परिजन उसका इलाज चिचोली में रहने वाले झोला छाप डॉक्टर आशीष सोनी से करवा रहे थे. बालक के पिता सुनील के मुताबिक शनिवार को सचिन की हालत बिगड़ने पर वे उसे फिर से दिखाने डॉक्टर के पास लाये थे. यहां डॉक्टर ने जैसे ही इंजेक्शन लगाया, बालक की हालत बिगड़ने लगी. घबराहट और मुंह से झाग निकलने लगा. घबराकर परिजन बच्चे को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लेकर ले गए. जहां डॉक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया. परिजनों ने मामले की शिकायत पुलिस से की है. जिसके बाद शव का पोस्टमार्टम करवाकर परिजनों को सौप दिया गया है.


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चिचोली थाना के नगर निरीक्षक अजय सोनी ने बताया कि मामला दर्ज कर जांच शुरू की गई है. जो भी दोषी होगा उसके विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी. इस प्रकरण में बीएमओ चिचोली से प्रतिवेदन प्राप्त कर जल्द कार्रवाई की जाएगी. इधर घटना के बाद आदिवासी समाज में रोष है. जयस संगठन से जुड़े कार्यकर्ताओं ने चेतावनी दी है कि अगर इस मामले में डॉक्टर के विरुद्ध कार्रवाई नहीं हुई तो वे आंदोलन करेंगे.


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कुछ माह पहले स्वास्थ्य विभाग ने इस झोला छाप डॉक्टर के क्लिनिक को पंजीकृत न होने और अवैध तरीके से संचालित करने के आरोप में सील कर दिया था. तब से कथित डॉक्टर क्लिनिंक का संचालन अपने घर पर कर रहा था.


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