गजब चुनावी वादाः 'जीता तो फुटबॉल वर्ल्ड कप देखने भेजूंगा विदेश', जानिए क्यों किया ये ही वादा?
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गजब चुनावी वादाः 'जीता तो फुटबॉल वर्ल्ड कप देखने भेजूंगा विदेश', जानिए क्यों किया ये ही वादा?

सुलेमान हाजी ने कोंडोट्टी विधानसभा सीट के लिए जारी निजी घोषणापत्र में कहा है कि अगर वह चुनाव जीतते हैं तो वह अपनी विधानसभा क्षेत्र में एक टूर्नामेंट का आयोजन कराएंगे. 

(इमेज सोर्स- फेसबुक)

नई दिल्लीः आमतौर पर चुनाव प्रचार के दौरान प्रत्याशी मकान, नौकरी, सड़क और विकास के वादे करते हैं लेकिन एक प्रत्याशी ने जीतने पर अपने मतदाताओं को फुटबॉल विश्व कप के मैच दिखाने विदेश ले जाने का वादा किया है. प्रत्याशी के इस वादे की खूब चर्चा भी हो रही है. बता दें कि ये वादा केरल विधानसभा चुनाव के दौरान निर्दलीय प्रत्याशी सुलेमान हाजी ने किया है. 

मलाप्पुरम में फुटबॉल है काफी लोकप्रिय
केरल के मलाप्पुरम जिले में फुटबॉल का खेल काफी लोकप्रिय है. यही वजह है कि सुलेमान हाजी ने चुनाव के दौरान इसी लोकप्रियता का भुनाने की कोशिश की है. सुलेमान हाजी मलाप्पुरम जिले की कोंडोट्टी सीट से चुनाव लड़ रहे हैं. वैसे तो हाजी निर्दलीय चुनाव मैदान में उतरे हैं लेकिन वामपंथी पार्टी का उन्हें समर्थन हासिल है. 

सुलेमान हाजी ने कोंडोट्टी विधानसभा सीट के लिए जारी निजी घोषणापत्र में कहा है कि अगर वह चुनाव जीतते हैं तो वह अपनी विधानसभा क्षेत्र में एक टूर्नामेंट का आयोजन कराएंगे. इस टूर्नामेंट में कोंडोट्टी के विभिन्न फुटबॉल क्लब शिरकत करेंगे. जो भी टीम इस ''एमएलए ट्रॉफी'' को जीतेगी, उसे कतर में साल 2022 में होने वाले फीफा फुटबॉल वर्ल्ड कप देखने जाने का मौका मिलेगा. 

क्या कहना है सुलेमान हाजी का
द न्यूज माइन्यूट की रिपोर्ट के अनुसार, सुलेमान हाजी का कहना है कि ''मैं बीते 30 साल विदेश में रहा है और इस दौरान कई देशों में मैंने अपने संपर्क बनाए हैं. इनमें कतर भी शामिल है. ऐसे में इस बात में कोई शक नहीं है कि मैं अपने वादे को पूरा कर सकता हूं."

सुलेमान को मिल सकता है फायदा
मलाप्पुरम जिले की कोंडोट्टी सीट इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग (IUML) का गढ़ मानी जाती है. इस सीट पर मौजूदा विधायक भी इसी पार्टी के हैं. आईयूएमएल कांग्रेस के नेतृत्व वाले यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट का हिस्सा है. ऐसे में सुलेमान हाजी को यहां  से जीत दर्ज करना आसान नहीं होगा. लेकिन सुलेमान के वादे के बाद विधानसभा के युवा मतदाताओं का रुझान उनकी तरफ हो सकता है. 

  

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