शैलेंद्र सिंह/ नरसिंहपुरः एमपी अजब है लेकिन यहां के कुछ जिलों की पुलिस कुछ ज्यादा ही गजब है. राज्य में नरसिंहपुर जिले की पुलिस के इस कारनामे के बाद आपको भी कुछ ऐसा ही महसूस होगा. यहां जिला पुलिस को अवैध शराब बिक्री के आरोपी पप्पू नोरिया की तलाश थी.


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पप्पू चिल्लाता रहा, गिड़गिड़ाता रहा!
पुलिस ने फूर्ती दिखाई और आरोपी पप्पू को उसके घर से गिरफ्तार कर लिया. वह चिल्लाता रहा, गिड़गिड़ाता रहा कि उसने कोई अपराध नहीं किया है, उसे छोड़ दिया जाए, वह बेगुनाह है. लेकिन, पुलिस ने उसकी एक न सुनी. जाहिर से बात है हर अपराधी यही कहता है.


पुलिस ने आरोपी को पकड़कर कोर्ट में पेश कर दिया, जहां उसे दो हजार रुपए जुर्माना भरने की सजा मिली. आप कहेंगे इसमें गजब क्या है यही तो पुलिस का काम है, सभी जगह की पुलिस को इसी तरह काम करना चाहिए.


लेकिन, मामले में मोड़ तो उस वक्त आया जब थाने में रात बिताने और दो हजार रुपए फाइन देने वाले शख्स के बारे में पता चला कि पुलिस पप्पु नोरिया को पकड़ने गई थी और पप्पू रैकवार को उठा लाई. है ना एमपी अजब! यहां अपराध कोई करे और सजा किसी और के माथे चढ़ जाती है.


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करेली थाना पुलिस के नाम दर्ज हुआ कारनामा
पूरा मामला नरसिंहपुर जिले के करेली थाने का है, जहां पुलिस के पास अवैध शराब बिक्री का वारंट था. वारंट के अनुसार पप्पू नोरिया की गिरफ्तारी की जानी थी. लेकिन पुलिस की टीम गलती से नेतराम रैकवार उर्फ पप्पू रैकवार को पकड़ कर थाने ले आई.


बिजली विभाग में काम करता है पप्पू रैकवार
नेतराम उर्फ पप्पू रैकवार करेली के बिजली विभाग में अस्थाई तौर पर काम करता है. नेतराम ने बताया कि पूरा मामला 10 मार्च की दोपहर को घटित हुआ, जब करेली पुलिस के दो सिपाही उसे गाड़ी में बिठाकर थाने ले गए. उसने बताया, "मैं चिल्लाता रहा, गिडगिड़ाता रहा, कहता रहा कि मैं बेगुनाह हूं... लेकिन पुलिस ने मेरी एक न सुनी."


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कोर्ट ने दी 2000 रुपए फाइन की सजा
पुलिस पप्पू रैकवार को पकड़ते हुए न्यायालय ले गई और वहां उसे पेश कर दिया. कोर्ट ने मामले में सुनवाई करते हुए पप्पू को दोषी करार दिया और उसे 2,000 रुपए का फाइन भरने की सजा भी दे दी. फाइन भरने के बाद पीड़ित अब पुलिस अधीक्षक कार्यालय पहुंचा और अपने साथ हुई इस पूरी घटना को बयां किया. उसने कहा कि पुलिस की इस कार्रवाई से उसके चरित्र की सरेआम हत्या की गई है.


एसपी बोले लापरवाही की जांच होगी
पीड़ित की शिकायत पर नरसिंहपुर एसपी विपुल श्रीवास्तव ने अब जांच के बाद एक्शन लेने की बात कही है. पुलिस की इस कार्रवाई से एक बात तो सिद्ध हो गई है कि आरोपी हो या पीड़ित, पुलिस जब अपनी ही धुन में मस्त होती है तो वह किसी की नहीं सुनती.


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