पीएम मोदी महिलाओं को देंगे ऐसा अधिकार जो 99 देशों में नहीं मिला! जानिए इसका इतिहास
मोदी सरकार ने महिलाओं के हित के लिए कई क्रांतिकारी फैसले किए हैं. इसमें तीन तलाक का कानून और बिना किसी पुरुष के साथ के महिलाओं को हज पर जाने की अनुमति देना भी शामिल है.
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आज आपको ये भी जानना चाहिए कि विवाह की उम्र को लेकर दुनिया के दूसरे देशों में क्या व्यवस्था है? दुनिया में आज भी 99 देश ऐसे हैं, जहां लड़कियों का विवाह 18 वर्ष से कम उम्र में हो जाता है. दुनिया के दो देश ऐसे भी हैं, जहां विवाह की न्यूनतम उम्र आज तक तय नहीं हो पाई है. ये देश हैं सऊदी अरब और यमन.
इसी तरह लेबनान में 9 साल, सूडान में 11 साल, ईरान में 13 साल, कुवैत में 15 साल और पाकिस्तान में लड़कियों के विवाह की न्यूनतम उम्र केवल 16 साल है. दुनिया में कुल 23 देश ऐसे हैं, जहां लड़कियों का विवाह 18 साल से कम उम्र में हो जाता है. ब्रिटेन में ये कानून है कि वहां असाधारण परिस्थितयों में लड़की की 16 वर्ष की उम्र में भी शादी हो सकती है.
इसके अलावा अमेरिका में कोई एक कानून नहीं है. वहां अधिकतर राज्यों में लड़कियां 18 साल के बाद ही शादी कर सकती हैं. हालांकि वहां भी असाधारण परिस्थितियों में 18 साल से कम उम्र के लड़के और लड़कियों की शादी को मान्यता मिल सकती है.
मोदी सरकार ने पिछले सात वर्षों में देश की महिलाओं के लिए क्रान्तिकारी फैसले लिए हैं. कच्चे चूल्हे पर जो महिलाएं धुएं के बीच खाना पकाती थीं, उन्हें उज्जवला योजना के तहत मुफ्त सिलिंडर दिए गए. तीन तलाक के खिलाफ सरकार कानून लाई है. वर्ष 2018 में देश में पहली बार मुस्लिम महिलाओं को परिवार के किसी पुरुष के बिना भी हज यात्रा पर जाने की अनुमति दी गई.
वर्ष 2019 में पहली बार National Defence Academy यानी NDA में महिलाओं के प्रवेश का फैसला किया गया. वर्ष 2019 में भारतीय सेना में महिलाओं के लिए Permanent Commission की स्थापना की गई. वर्ष 2016 से नौकरीपेशा महिलाओं के लिए Maternity Leave 12 हफ्तों से 26 हफ्ते कर दी गई थी. बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान भी इसमें शामिल है.