Chittorgarh: आजकल दिखावे की दुनिया में एक ओर जहां लोग अपने जन्मदिन से लेकर अन्य कई निजी कार्यक्रमों में महंगी होटलों में जाकर मित्रों, रिश्तेदारों के साथ खाना खाते और खिलाते है. वहीं चित्तौड़गढ़ की साईं एस्ट्रो विजन सोसायटी एक ऐसी संस्था है, जिसने पिछले कुछ सालों से शहर में एक अनूठा नवाचार किया है और शहर के सभ्य कहलाने वाले मध्यम और सक्षम परिवार के लोगों को प्रेरित कर अपने जीवन में आने वाली हर खुशियों से लेकर गम तक के सभी अवसरों पर शहर में रहने वाले गरीब, बेसहारा, निशक्तजनों को भोजन करवाने और उन्हें सहायता प्रदान कराने के लिए तैयार किया है. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

गरीबों और जरुरतमंदों को कराएं जाने वाले इस भोजन का नाम रखा गया 'साईं प्रसादम्.' यहीं नहीं कोरोना महामारी के संकट में भी साई प्रसादम् ने रोजाना सैकड़ों लोगों की भूख बुझा कर उन्हें सहायता की है. साथ ही गरीबों को कम्बल और अन्य दैनिक जरूरी सामान भी उपलब्ध करवाते है. बता दें कि चित्तौड़गढ़ की साईं एस्ट्रो विज़न सोसायटी भोजन वितरण सहित कई सामाजिक सरोकार के कार्यों को करने में सभी धर्म गुरुओं और समाजजनों को बिना किसी भेदभाव के एक मंच पर खड़ा करने में अब तक सफल दिखाई दिए है. साईं एस्ट्रो विजन द्वारा शहर में जगह-जगह साल के 365 दिन ही गरीबों, जरुरतमंदों और निशक्तजनों को भोजन करवाया जाता है. 


चाहे कोई आयोजक मिलें या ना मिले, भोजन की व्यवस्था सोसायटी के स्थाई सदस्यों द्वारा नियमित करवाई जा रही है. साईं ऐस्ट्रो विजन सोसायटी के इन कार्यों की परिकल्पना उसी समय फलीभूत हो चुकी थी, जब साईं एस्ट्रो विजन सोसायटी के द्वारा प्रारम्भिक स्तर पर जनकल्याण के कार्य किए जा रहे थे. चुनौती इस बात की थी कि बड़े लक्ष्य और कार्य प्रारंभ करना जितना आसान है, वहीं इन कार्यों को निरंतर जारी रखते हुए उच्चता की ओर ले जाना उतना ही मुश्किल. सोसायटी की बहुत ही छोटी टीम जिसमें संस्थापक अध्यक्ष डॉ. संजय गील, सुशील शर्मा, हरदीप कौर, विपिन शर्मा, पुष्कर सोनी, सतपाल सिंह दुआ, चंद्रप्रकाश मालाणी, भगवान तड़बा आदि सम्मिलित थे, जब एक सर्द रात को जरूरतमंदों को कम्बल वितरित कर रहे थे, तो पाया कि सर्दी के कहर से ज्यादा दर्द भूखे पेट सोने में है और एक संकल्प के साथ प्रारंभ हुआ जरूरतमंदों के लिए निशुल्क भोजन उपलब्ध कराने का. 


यह भी पढ़ें - PFI पर बैन पर कांग्रेस सांसद की RSS को बैन करने की मांग, अजमेर दहगाह के दीवान बोलें-ये 5 साल पहले ही हो जाना चाहिए था


महाअभियान जो आज भी अनवरत जारी रहते हुए जरूरतमंदो को निशुल्क भोजन साईं प्रसादम् के नाम से संचालित है. अभी निशुल्क भोजन वितरण प्रारम्भ हुआ ही था कि कोरोना के प्रथम काल की विपरीत परिस्थितियों में जन सेवा का अवसर मिला और सोसायटी द्वारा साईं प्रसादम् ने स्थानीय जन के दिलों में जगह ऐसी बनाई कि आज 1200 से अधिक चित्तौड़गढ़ के परिवार समर्पण और सहयोग की भावना के साथ जुड़ चुके है और एक अब यह एक कारवां बन चुका है. शहर में आज जन्मोत्सव हो या किसी की पुण्यतिथि हर कोई सहयोग की अभिलाषा से निर्धन, गरीब और जरूरतमंद वर्ग को भोजन उपलब्ध कराने हेतु सोसायटी से जुड़ रहे है. वर्तमान में सोसायटी द्वारा रक्तप्रदाता समूह, अनाथों को सम्बल और सहायता, निशुल्क ज्योतिष परामर्श, निशुल्क भोजन, गीत संगीत के कार्यक्रम आयोजित कर नवोदित प्रतिभाओं को अवसर प्रदान करने के साथ ही नारी पुनरुत्थान, पर्यावरण संरक्षण आदि कार्य भी किए जा रहे है.


Reporter: Deepak Vyas


खबरें और भी हैं...


पुष्कर में कर्नल बैसला की अस्थि विसर्जन यात्रा में जूते फेंकने में भी पायलट की भूमिका- धर्मेंद्र राठौड़


Rajasthan News : राजेंद्र गुढ़ा का प्रतापसिंह खाचरियावास को जवाब, तुम कोई गब्बर थोड़े ही हो जो खून बहा दोगे


बाड़मेर: नशे में धुत चालक ने स्कूटी सवार महिलाओं पर चढ़ाई स्कॉर्पियो, फिर हुआ चमत्कार


यहां इस वजह से किसान ने करवा दिया 'भैंस का मुंडन', बोला- हर साल परेशान रहता था तो..