राजस्थान प्रदेश के आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का हल्ला बोल, नियमित करने की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन
Jaipur News: प्रदेशभर के आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने जयपुर में हल्ला बोला. आईसीडीएस दफ्तर के बाहर कार्यकर्ताओं ने नियमित करने की मांग को लेकर प्रदर्शन किया.
Jaipur News: प्रदेशभर के आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने आज जयपुर में हल्ला बोला. आईसीडीएस दफ्तर के बाहर आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने नियमित करने की मांग को लेकर प्रदर्शन किया. कुछ आंगनवाड़ी कार्यकर्ताएं अपने बच्चों के साथ विरोध प्रदर्शन में शामिल हुईं. और अपनी पीड़ा बताएं. आपको बता दें कि अपनी मांगों को लेकर पहले भी आंगनबाड़ी कार्यकर्ता आवाज उठा चुकी हैं, लेकिन अब तक इस मामले में सरकार कि तरफ से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है.
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ये प्रमुख मांगे,जिनको लेकर हल्ला बोला-
1. आंगनबाड़ी कर्मियों को नियमित किया जाए। सेवा नियम बनाये जायें एवं आगनबाड़ी कर्मियों का केन्द्र समय के बाद गृह सम्पर्क का समय आंगनबाड़ी पाठशाला के समय अवधि में ही मर्ज किया जाए.
या 4 घण्टे के केन्द्र संचालन समय,2 घण्टे गृह सम्पर्क को जोड़कर कार्य अवधि 6 घण्टे कर दिया जाये।
2. नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति में आगनबाड़ी कर्मियों को योग्यता व वरीयता के आधार पर लिया जायें। नई एनटीटी की मर्ती नहीं की जाकर आंगनबाड़ी कर्मियों को सेवा में रहते प्रशिक्षण करवाकर राष्ट्रीय शिक्षा नीति में वरीयता दी जाए या डी.ई.एल.ई.डी. का प्रशिक्षण करवाया जाए.
3. सेवानिवृति पर एक मुश्त राशि, पेंशन दी जावें.
4. आंगनबाड़ी कोटे से महिला पर्यवेक्षक की विज्ञप्ति शीघ्र जारी की जावे एवं महिला कर्मियों की श्रेणी बनायी जाये जिसमें कुशल, अर्द्ध कुशल एवं कुशलता के आधार पर वरीयता दी जायें।
5. आगनबाड़ी कार्यकर्ता को पोषण ट्रेकर एप्लीकेशन पर लाइव लोकेशन दर्ज करने हेतु आदेशित किया गया हैं, किन्तु अधिकतर आंगनबाड़ी केन्द्र ग्रामीण क्षेत्र में संचालन होने के कारण वहां नेटवर्क उपलब्ध नहीं होता जिस कारण मानदेय कार्मिक केन्द्र पर उपस्थित होते हुए भी अपनी उपस्थिति दर्ज नहीं कर पाती हैं। इसलिए कार्यकर्ता को लाइव लोकेशन दर्ज करने हेतु पाबंद नहीं किया जाना चाहिए,
आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का कई बार नियमित करने की मांग को लेकर आंदोलन हुआ लेकिन अभी तक इसका कोई उचित समाधान नहीं निकला ऐसे में सवाल यही कि आखिरकार कब तक आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की पीड़ा बढ़ती रहेगी और कब तक आंदोलन होते रहेंगे.